ज्यादा चिंता होने पर क्या करें? - jyaada chinta hone par kya karen?

ज्यादा चिंता होने पर क्या करें? - jyaada chinta hone par kya karen?
तनाव-चिंता दूर करने के 4 उपाय 

एंग्जाइटी डिसऑर्डर की समस्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा है। वक्त- बेवक्त कोई भी व्यक्ति किसी भी तरह की चिंता या डर से गुजर सकता है। ऐसे में ये जरूरी है कि इस कंडीशन को इग्ननोर न किया जाए। तनाव या चिंता से जूझ रहे लोग कई सारे उपायों को अपनाकर इस समस्या से खुद को बाहर निकाल सकते हैं। वैसे तो एंग्जायटी के लिए ध्यान करना बेहद फायदेमंद होता है। लेकिन, इसके अलावा कुछ घरेलू उपायों को अपनाने से भी इस समस्या से बाहर निकला जा सकता है। 

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तनाव-चिंता दूर करने के लिए 4 घरेलू उपाय 

वर्तमान में जिएं 

बड़ी संख्या में लोगों को एंग्जाइटी इसलिए होती है क्योंकि वे भविष्य के बारे में जरूरत से ज्यादा सोचते हैं। अगर एंग्जाइटी को दूर रखना है तो सबसे पहले  वर्तमान के बारे में सोचें। रोज खुद से जानने का प्रयास करें कि वाकई आपको खुद से अभी से इस विषय में कुछ करने की जरूरत है। ऐसा करने से आप पाएंगे कि धीरे-धीरे सारी गैरजरूरी चिंताएं मिट जाएगी और आप बेहतर महसूस करने लगेंगे।

खुद पर विश्वास रखें 

कई बार अचानक से बहुत ज्यादा घबराहट होने लगती है। ऐसी स्थिति में खुद पर विश्वास रखें, अपनी इच्छाशक्ति को मजबूत करें। खुद को बार-बार यकीन दिलाइए कि ये बेचैनी और घबराहट थोड़ी ही देर के लिए है। जल्द ही सब अच्छा हो जाएगा और आप पहले से अधिक स्वस्थ हो जाएंगे। 

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ब्रीथिंग एक्सरसाइज करें 

तनाव दूर करे के लिए ब्रीथिंग करें। इससे आपको काफी आराम मिलेगा। इस दौरान आप पेट को बाहर करते हुए सांस लें, थोड़ी देर रूकें और फिर पेट को अंदर करते हुए अपनी श्वास को छोड़ें। जबतक ठीक न लगने लगे तब तक इसे करते रहें। ब्रीथिंग करते वक्त दिमाग को अच्छे विचारों की तरफ केंद्रित करने का प्रयास करें। 

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हाथों- ऊंगलियों की एक्सरसाइज करें

बेचैनी होने पर अपने आस-पास देखिए। उन चीजों का नाम लें जिन्हें आप सुन रहे हों। इसके बाद हाथों, ऊंगलियों और टखने को हिलाइए। तनाव के वक्त व्यक्ति न जाने क्या-क्या सोचता है, ऐसे में बहुत जरूरी है कि आप ये सारी चीजें करके देख लें। आपका मन शांत हो जाएगा।

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ज्यादा चिंता होने पर क्या करें? - jyaada chinta hone par kya karen?

क्या आपने स्वयं को एक अनजाने भय और कुछ बुरे घटने की आशंका के चक्र में घिरा पाया है? एक बार इस प्रयोग को करें। अपनी मुट्ठियों को कस कर बांधे, जितना जोर से आप बाँध सकते हैं। अब छोड़ दें। कौन ज्यादा आसान था, कस कर मुट्ठिया बांधना या खुला छोड़ना? साधारण सी बात है, खुला छोड़ना ज्यादा आसान और आरामदायक है, लेकिन ज्यातर लोग अपने भय और चिंताओं को कस के पकड़े रहते हैं।

हम सब चिंताओं को छोड़ना चाहते है लेकिन हम खुद को कितना भी समझा लें कि चिंता करने का कोई फायदा नहीं है फिरभी हम चिंता किये बिना रह नहीं पाते। हमें नहीं पता चिंता का क्या करें, इसलिए इस लेख में हमने चिंता से मुक्ति पाने के प्रभावी लेकिन कम प्रचलित तरीकों पर बात की है।

चिंता दूर करने के उपाय

  • तनाव और चिंता के लिए ध्यान
  • उत्साह से चिंता का सामना
  • आयुर्वेदिक औषधि - चिंता मुक्ति का प्राकृतिक हल
  • चिंता से घिरे हैं? अपनी चिंता को बड़ा बनाये

1. तनाव और चिंता के लिए ध्यान 

क्या आपने चिंता से मुक्ति के लिए ध्यानके विषय में सोचा है? चिंता कई कारणों से हो सकती है जैसे कि, अधिक काम का दबाव, बीमारी, अपर्याप्त भोजन, सोने की गलत आदतें, भावनात्मक दबाव, शोर के प्रति अतिसंवेदनशीलता, विभिन्न प्रकार के भय जैसे अंधकार का भय। कभी कभी ये केवल जल्दी कुछ प्राप्त करने का दबाव भी होता है। कारण कुछ भी हो, ध्यान, चिंता से मुक्ति पाने के सबसे अच्छे तरीकों में एक है।

अब ध्यान करना है बहुत आसान ! आज ही सीखें !

चिंतामुक्ति के लिए सजग ध्यान 

सजग ध्यान के अभ्यास में आप अपनी भावनाओ, संवेदनाओं, विचारों के प्रति सजग रहते है, इनके साथ किसी भी अच्छाई, बुराई जोड़े बिना, जिससे इन्हे आप संभाल सके। ये चिंताओं को कम करने का बहुत ही अद्भुत तरीका है जो ये निश्चित करता है कि आप भावनाओ के स्वामी हैं नाकि आपकी भावनाएँ आपकी स्वामिनी।

अच्छी नींद के लिए सुझाव

अगर आपको रात को सोने में तकलीफ है, अच्छी नींद के लिए एक ध्यान है जो आपको आसानी से गहरी नींद में ले जायेगा वो भी बिना किसी औषधि के उपयोग के।


2. उत्साह: चिंता से दूर जाने का एक कारगर तरीका ,

आपको अपने बचपन में अपने सबसे अच्छे दोस्त के जन्मदिन की पार्टी में जाना याद है? पूरे जोश और उत्साह से भरे हुए खुश लोगों के बीच वहाँ बस रहने में ही कितना मजा था? आपको इतना अच्छा लगता था की आप वहाँ से वापस आना ही नहीं चाहते थे। वे चिंता से मुक्त पल थे। आख़िरकार आप एक साथ चिंता करना और जोश के साथ उत्सव मानना नहीं कर सकते हैं।

ये समझना कितना आसान है, जब हम कुछ करने के लिए साथ मिलते हैं, एक जोश भर जाता है। हमारे भीतर ऊर्जा का संचार हो जाता है जो चिंताओं को भगा देता है, जो ऊर्जा की कमी से ही होती है। ये चिंता मुक्ति का एक और सहज तरीका है।

गुरुदेव श्री श्री रवि शंकर जी कहते हैं, "जीवन प्रेम है, जीवन आनंद है, जीवन उत्साह है।" ध्यान के नियमित अभ्यास से आपका मन शांत होने लगता है और आप सहज ही अनुभव करते हैं कि जीवन एक उत्सव है, जो प्रेम, आनंद और उत्साह से भरा है।


3. आयुर्वेदिक औषधि - चिंता मुक्ति का प्राकृतिक उपाय 

क्या आप चिंता को कम करने की दवाएं ले रहे हैं? क्या आपको ये डर है कि घर में चोर ना आ जाये या आपके नीचे की जमीन ना हिलने लगे? क्या आपकी दवाओं ने आपकी चिंताओं को पूरी तरह से दूर कर दिया है या फिर ये सिर्फ कुछ समय के लिए ही लाभ देती हैं? इन दवाओं पर हमेशा कोई चेतावनी लिखी होती है। लेकिन अच्छी खबर यह है कि अब इनके प्राकृतिक विकल्प उपलब्ध हैं जिनमें कोई दुष्प्रभाव (साइड इफ़ेक्ट) नहीं है। यदि आप चिंता में आराम के लिए आयुर्वेदिक औषधि जैसे नारायण कल्प लेते हैं जो आपके तंत्रिका तंत्र पर काम करता है और असहजता, चिंता और अनिद्रा में लाभकारी है।

आपकी चिंता का कारण हार्मोन का असंतुलन भी हो सकता है। इसलिए आप किसी डॉक्टर की सलाह लें, आयुर्वेदिक या होमेओपेथिक बेहतर होगा क्योंकि इनकी दवाओं के दुष्प्रभाव अगर होंगे भी तो बहुत कम।

भोजन पर दें विशेष ध्यान 

अपने भोजन पर ध्यान देना बहुत जरूरी है -- अधिक से अधिक ताजा और स्वास्थ्यप्रद शाकाहारी भोजन करें और खूब पानी पियें, जब भूख लगे तभी खाएं। अपने प्रतिदिन के ध्यान के अतिरिक्त अपने शरीर और मन को सही आकर में रखने के लिए 20 मिनट योग अभ्यास जरूर करें। ध्यान को खालीपेट करना अधिक लाभकारी है।


4. चिंता से परेशान हैं?  तो फिर किसी बड़ी चीज़ के लिए चिंता करें  

क्या आप रिस्तो की उलझन में फसे हैं या अपनी आमदनी ना बढ़ने से परेशान है या फिर आपके प्रतियोगी आपको पीछे छोड़े जा रहे हैं? गुरुदेव श्री श्री रविशंकर जी कहते है " हमें सारे संसार की चिंता करनी चाहिए ना कि सिर्फ अपनी चिंता " चिंता करना मानव मन की वृत्ति है तो क्यों ना ज्यादा लोगों के भले की चिंता करें? वास्तव में चिंता करने से कोई भला नहीं होगा, हाँ, कुछ काम करने से कुछ बदलाव संभव है। ये काम के लिए प्रयास ही आपको चिंता के पार ले जाता है। जब आप बड़े स्तर पर देखते हैं तो अपनी समस्याएं बहुत छोटी लगती हैं, ये सोच ही अपने आप में वरदान है और एक सहज तरीका चिंता से मुक्त होने का

क्या आप जानना चाहेंगे कि निस्वार्थ सेवा किस तरह आपको चिंता से मुक्त करती है? लोग जो आपसे कम भाग्यशाली हैं, वे आपकी तरह जीवन के बहुत से आनंद नहीं उठा पाते हैं। इसलिए आपकी ओर से उठाया गया छोटा सा कदम भी उनके जीवन बड़े बदलाव ला सकता है। ये जानकर कि आप किसी की खुशी का कारण हैं आपको एक असीम प्रसन्नता से भर देता है! ये उत्साह आपको नकारात्मक भावनाओं (भय, चिंता) से दूर रखने में मदद करता है। किसी जरूरतमंद बच्चे को पढ़ाना, या फिर किसी गरीब को दवा दिला देना, आपके द्वारा ये छोटे से कार्य उन लोगों के जीवन में भारी परिवर्तन ला देते हैं।

सेवा के बाद ध्यान अवश्य करे अन्यथा आप थका हुआ अनुभव करेंगें। वास्तव में सेवा के बाद ध्यान करना, ध्यान के गहरे अनुभव देता है।

भय और चिंता से तात्कालिक राहत के लिए सुझाव 

भय और चिंता से तुरंत राहत पाने के लिए ध्यान का प्रयोग करें। इसे आप कहीं भी कर सकते हैं। ध्यान के नियमित अभ्यास से भय और चिंता से आप जल्द ही मुक्ति पाएंगे। क्या आपने आज ध्यान किया है? यदि नहीं तो, अभी ध्यान करें।

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टेंशन से बाहर कैसे निकले?

सुबह या शाम जब टाइम मिले वॉक पर जायें या एक्सरसाइज करें..
तनाव को ना होने दें हावी ... .
मन का काम जरूर करें ... .
क्लटर ना जमा होने दें ... .
योग-मेडिटेशन बहुत फायदेमंद ... .
बड़े काम की छोटी बातें.

ज्यादा चिंता करने से कौन सी बीमारी होती है?

एंग्जायटी (Anxiety) के परिणाम-.
उत्तेजित हो जाना ... .
घबराहट हो जाना ... .
थकान हो जाना ... .
ध्यान देने में मुश्किल होना ... .
चिड़चिड़ापन होना ... .
मांसपेशियों में तनाव ... .
सोने में समस्या होना ... .
घबराहट का दौरा पड़ना.