पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

जानिए, भारत और पाकिस्तान के बीच चलने वाली समझौता एक्‍सप्रेस व थार एक्सप्रेस का रूट क्या है, कहां से कहां जाती हैं और क्या इनकी जांच-पड़ताल प्रॉसेस.

जानिए, भारत और पाकिस्तान के बीच चलने वाली समझौता एक्‍सप्रेस व थार एक्सप्रेस का रूट क्या है, कहां से कहां जाती हैं और क्या इनकी जांच-पड़ताल प्रॉसेस.

  • News18Hindi
  • Last Updated : March 11, 2019, 14:56 IST

    समझौता एक्‍सप्रेस ट्रेन धमाका मामले में फैसला आने वाला है. 12 साल पहले इस ट्रेन में हुए ब्लास्ट में 68 लोगों की जान चली गई थी. जानते हैं भारत और पाकिस्तान के बीच चलने वाली इस ट्रेन को क्यों समझौता एक्सप्रेस कहते हैं और ये कब दोनों देशों के बीच चल रही है.

    ये ट्रेन दोनों देशों को जोड़ने वाली ट्रेन सेवा है. हाल में जब 26 फरवरी को पाकिस्तान में जैश-ए-मोहम्मद पर एयरस्ट्राइक हुई तो पाकिस्तान ने इस सेवा पर रोक लगा दी थी. लेकिन ये सुविधा अब फिर बहाल हो चुकी है.

    ये पहला मौका नहीं था जब समझौता एक्सप्रेस को भारत-पाक में तनाव की सुगबुहाट पर ही रोक लगा दी गई हो. इससे पहले 13 दिसंबर 2001 को संसद पर हमले के बाद भी समझौता एक्सप्रेस रोक दी गई थी. 27 दिसंबर 2007 को बेनजीर भुट्टो हमले के बाद इस ट्रेन को रोक दिया गया था. आइए, जानते हैं इस ट्रेन के बारे में जो भारत और पाकिस्तान को जोड़ती भी है और दोनों के देशों के तनावों का सबसे आसान शिकार भी है-

    क्या है समझौता एक्सप्रेस
    समझौता एक्सप्रेस भारत और पाकिस्तान के बीच चलने वाली ट्रेन है. भारत में यह ट्रेन दिल्ली से पंजाब स्थित अटारी तक जाती है. अटारी से वाघा बॉर्डर तक तीन किलोमीटर की सीमा पार करती है. इस दौरान बीएसएफ के जवान घोड़ागाड़ी से इसकी निगरानी करते हैं. आगे-आगे चलकर पटरियों की पड़ताड़ भी करते चलते है. सीमा पार करने के बाद यह ट्रेन पा‌किस्तान के लाहौर जाती है.

    पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

    भारत से यह दो बार- बुधवार व रविवार को पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन से रात 11.10 बजे निकलती है। इसके लिए पुरानी दिल्ली अलग से प्लेटफॉर्म बनाया गया है. इस ट्रेन में दाखिल होने से पहले गहन पड़ताल के बाद यात्रियों को इस ट्रेन में बिठाया जाता है. समझौता एक्सप्रेस में कुल छह शयनयान और एक वातानुकूलित तृतीय श्रेणी (3rd AC) कोच हैं. दिल्ली से निकलने के बाद अटारी तक बीच में इसका कोई स्टॉपेज नहीं है. बताया जाता है कि इसे भारतीय रेल की राजधानी एक्सप्रेस, शताब्दी एक्सप्रेस व अन्य प्रमुख ट्रेनों के ऊपर तरजीह दी जाती है ताकि इसमें कोई देर ना हो.

    एक-दो नहीं बल्कि 48 आतंकी संगठन हैं पाकिस्तान से सक्रिय

    लाहौर से वापसी के समय समझौता एक्सप्रेस भारत में सोमवार और गुरुवार को पहुंचती है। इस दौरान इस ट्रेन के लोको पायलट और गार्ड नहीं बदले जाते.

    समझौता एक्सप्रेस की जरूरत क्यों
    भारत और पाकिस्तान की भौगोलिक स्थिति व ऐतिहास‌िक पृष्ठभूमि पर एक नजर डाला जाए तो इस ट्रेन की जरूरत क्यों है, यह बात स्पष्ट हो जाएगी. भारत-पाकिस्तान और बांग्लादेश साल 1947 तक हिन्दुस्तान नाम के एक ही राष्ट्र हुआ करते थे. देश की आजादी के वक्त भारत-पाकिस्तान विभाजन हुआ. आज भी ‌दिल्ली और लाहौर के लोगों से बात करेंगे तो पता चलेगा कि उनके रिश्तेदार भारत और पाकिस्तान दोनों ही देशों में हैं.

    पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

    फिर साल 1971 में पूर्वी पाकिस्तान का आजाद मुल्क बांग्लादेश बनना. एशिया के नक्‍शे में देखेंगे तो पाएंगे कि कभी एक ही मुल्क होने वाले पाकिस्तान व पूर्वी पाकिस्तान के बीच भारत एक पूल है. जब मुल्क आजाद हुआ तब कई परिवारों के लोग दो अलग-अलग देशों के निवासी हो गए. ऐसे में ईद-दीवाली व अन्य कई प्रमुख अवसर पर इन तीनों देशों के लोग सीमाएं लांघकर अपनों के बीच आवागमन करते हैं.

    इसक अलावा भारत-पाकिस्तान, दोनों ही देशों के बीच भारी मात्रा में खाद्य पदार्थ व अन्य कई तरह के व्यापार होते हैं. हाल ही में टमाटर के निर्यात के मामला काफी चर्चा में रहा. ये पदार्थ कई बार समझौता एक्सप्रेस के जरिए ही इधर से ऊधर और उधर से इधर लाए जाते हैं.

    समझौता एक्सप्रेस का इतिहास
    समझौता एक्सप्रेस का इतिहास 43 साल पुराना है. इसकी नींव 1971 के भारत-पाक युद्ध के बाद हुए दोनों देशों के राष्ट्राध्यक्षों प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और जुल्फिकार अली भुट्टो के बीच हुए शिमला समझौता में पड़ी. दोनों देशों ने आपस में फिर से रेल सेवा को बहाल करने पर सहमति जताई.

    पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

    असल में भारत-पाक के बीच पहले रेल सेवा थी. समझौता एक्सप्रेस से ज्यादा व्यापक थी. लेकिन 1965 के भारत-पाक युद्ध के दौरान सेना के जवानों ने रेल की पटरियां उखाड़ फेंकी ‌थीं.

    भारत-पाकिस्तान टकराव में बहुत खास है इजरायल की भूमिका

    ऐसे में समझौता एक्सप्रेस को 22 जुलाई 1976 को अटारी-लाहौर के बीच शुरू करने का फैसला किया गया. शुरुआत में इसे रोज चलाया जाता था. लेकिन साल 1994 में इसके संचालन को हफ्ते में दो दिन ही कर दिया गया. शुरुआत में ये ट्रेन संचालन के दिन ही भारत भी लौट आती थी, लेकिन वर्तमान में यह अगले दिन भारत लौटती है.

    समझौता एक्सप्रेस ब्लास्ट
    फरवरी 2007 समझौता एक्सप्रेस में एक जबर्दस्त धमाका हुआ. इसमें 68 लोगों की मौत हो गई और 12 लोगों के घायल होने का दावा किया जाता है. तब ट्रेन दिल्ली से लाहौर के लिए निकली थी. मारे गए लोगों में अधिकांश पाकिस्तानी मूल के लोग थे.

    पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

    एक पुलिस एफआईआर के अनुसार, समझौता एक्सप्रेस में दिल्ली से करीब 80 किलोमीटर दूर पानीपत के दिवाना रेलेव स्टेशन के पास रात 23:53 बजे धमाका हुआ था. इतना ही दो सूटकेस बम बरामद भी किए गए थे. मामले में सालों तक जांच-पड़ताल चलती रही, लेकिन सबूतों के अभाव में सभी आरोपितों को जमानत मिल गई.

    इसके अलावा 8 अक्टूबर 2012 में लाहौर से दिल्ली आते वक्त वाघा बॉर्डर पर जांच के दौरान 100 किलो हेरोइन और गोला बारूद भी जब्त किए गए थे.

    थार एक्सप्रेस
    भारत पाकिस्तान के बीच चलने वाली यह एक व्यापक रेल सेवा थी. दोनों देशों के बीच चलने वाली यह सबसे पुरानी रेल सेवा है. ये ट्रेन आजादी से पहले अविभाज्य हिन्दुस्तान के समय चलती आ रही है. पहले इसका नाम सिंध मेल हुआ करता था. साल 1892 में हैदराबाद-जोधपुर रेलवे के तहत इसे शुरू किया गया था. हैदराबाद जोधपुर रेलवे लाइन को पाकिस्तान के करांची पेशावर रेलवे लाइन से जोड़ती है.

    जानिए विंग कमांडर अभिनंदन के बारे में दस खास बातें

    दोनों देशों में आखिरी सीमाई स्टेशन मुनाबाओ और खोखरापार हैं. इस बीच ट्रेन करीब छह कीलोमीटर दोनों सीमाओं के मध्य चलती है.

    पाकिस्तान जाने के लिए कौन सा ट्रेन है? - paakistaan jaane ke lie kaun sa tren hai?

    लेकिन साल 1965 के भारत-पाक युद्ध के बाद इसकी पटरियां क्षतिग्रस्त हो गई थीं. इसके बाद इसका संचालन रोक दिया गया था. लेकिन 41 साल दोनों देशों ने इस ट्रेन की अहमियत को फिर समझा. आपसी सहमति से 18 फरवरी 2006 को इसे फिर से शुरू कर दिया गया. जमराव, सैंदद, पिथारू ढोरो नारो, छोरे एवं खोखरापार आदि इसे प्रमुख रेलवे स्टेशन हैं. दोनों देशों में क्रमशः बाड़मेर और मीरपुर खास स्टेशनों पर हर यात्रा में इसकी विशेष जांच की जाती है.

    सुबह से रात तक कैसे होती है पाकिस्तान में आतंकियों की ट्रेनिंग?

    ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें News18 हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट News18 हिंदी|

    Tags: Air Strike, India pakista, Indian Airforce, Pakistan, Pulwama, Pulwama attack, Surgical Strike, Surgical strike by indian army in LOC, Train ticket

    FIRST PUBLISHED : March 11, 2019, 14:50 IST

    भारत और पाकिस्तान के बीच चलने वाली ट्रेन का क्या नाम है?

    लेकिन विभाजन के बाद दोनों देशों को एक रखने के लिए भारत-पकिस्तान के बीच 'समझौता एक्सप्रेस' शुरू की गई थी। 1971 में हुए बांग्लादेश युद्ध के परिणामों को देखते हुए 'शिमला समझौता' किया गया था। इस शांति की संधि में 'समझौता एक्सप्रेस' को शुरू करने का निर्णेय लिया गया था।

    क्या हम ट्रेन से पाकिस्तान जा सकते हैं?

    समझौता एक्सप्रेस - Samjhauta Express आप इस ट्रेन का टिकट अमृतसर के अटारी जंक्शन से तभी खरीद सकते हैं, जब आपके पास पाकिस्तान का वैध वीजा हो। ट्रेन से आप 27 किमी की दूरी तय कर 4 घंटे में आराम से पहुंच सकते हैंट्रेन केवल पंजाब के वाघा स्टेशन पर रुकती है।

    पाकिस्तान जाने का रास्ता किधर से?

    केरल से हज के लिए पैदल ही निकले, 2000 किलोमीटर चल पहुंचे उदयपुर; 8 हजार से ज्यादा किमी के सफर में पाकिस्तान और इराक भी जाएंगे