"वृद्धि" यहाँ पुनर्प्रेषित होता है। अन्य प्रयोगों के लिए, वृद्धि (बहुविकल्पी) देखें। Show विश्व के प्रमुख देशों का सन् 1990-1998 तथा 1990-2006 में आर्थिक वृद्धि
किसी देश की प्रति व्यक्ति सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में वृद्धि आर्थिक वृद्धि (Economic growth) कहलाती है। आर्थिक वृद्धि केवल उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं का परिमाण बताती है। अनुक्रम
इन्हें भी देखें[संपादित करें]
बाहरी कड़ियाँ[संपादित करें]लेख एवं व्याख्यान[संपादित करें]
आंकड़े[संपादित करें]
आर्थिक विकास के तत्व कौन कौन से हैं?आर्थिक विकास एक जटिल प्रक्रिया है। आर्थिक विकास के निर्धारक तत्व आर्थिक और अनार्थिक दोनों ही हैं। जहाँ तक आर्थिक तत्वों का सम्बंध है, इनमें सबसे अधिक महत्वपूर्ण पूँजी स्टॉक तथा संचयन की दर, विभिन्न क्षेत्रों में पूँजी उत्पाद अनुपात, जनसंख्या का आकार एवं वृद्धि दर, कृषि क्षेत्र में आधिक्य तथा भुगतान शेष की स्थिति ।
आर्थिक विकास के कितने तत्व हैं?प्रो0 हैरोड एवं डोमर ने आर्थिक विकास के चार सहायक तत्व माने हैं - 1. जनसंख्या वृद्धि की दर, 2. औद्योगिक विकास की दर, 3. पूंजी उत्पाद अनुपात, 4.
आर्थिक वृद्धि का मुख्य स्रोत क्या है?' " निष्कर्ष (Conclusion ) - अत: आर्थिक वृद्धि का संबंध देश की प्रति व्यक्ति आय या उत्पादन में एक मात्रात्मक निरंतर वृद्धि से है जो कि उसकी श्रम शक्ति, उपभोग, पूंजी और व्यापार की मात्रा में प्रसार के साथ होती है।
आर्थिक वृद्धि क्या है?आर्थिक संवृद्धि की परिभाषा: आर्थिक संवृद्धि से मतलब किसी समयावधि में किसी अर्थव्यवस्था में होने वाली वास्तविक आय में वृद्धि से है. सामान्य रूप से यदि किसी देश की सकल घरेलू उत्पाद और प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि होती है तो कहा जाता है कि उस देश में आर्थिक संवृद्धि हो रही है.
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