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हेल्थ डेस्क। बेटे को शक था कि उसे सांप ने काटा है। पिता ने कहा लाल मिर्ची खिलाओ। अगर मिर्च तीखी लगी तो सांप ने नहीं काटा है और अगर तीखी न लगी तो हॉस्पिटल ले जाना। इसके बाद एक के बाद एक उसे 5 मिर्च खाने को दी। बिना उफ किए वो सारी मिर्च खा गया। मिर्च तेज है या नहीं, यह जानने के लिए मां ने एक छोटा-सा टुकड़ा मुंह में डाला तो वह बेहद तीखी निकली। इससे समझ में आया कि सांप जहरीला है। इसके बाद बेटे को हॉस्पिटल ले जाया गया। यह किस्सा जालंधर का है। 16 वर्षीय नीरज को सोमवार देर रात क्रेट सांप ने डसा था। इलाज के बाद उसकी हालत ठीक है। एक्सपर्ट ने बताया, मिर्च से सांप काटने का कोई संबंध नहीं, ये है पहचानने का तरीका - मप्र के होलकर साइंस कॉलेज के जूलॉजी डिपार्टमेंट के हेड प्रो.एमएमपी श्रीवास्तव ने बताया कि सांप ने जहां काटा है, यदि वहां दांत के 2 निशान हैं तो समझ जाएं कि सांप जहरीला है। वहीं काटी हुई जगह पर दांत के कई निशान दिख रहे हैं तो समझ जाएं कि सांप जहरीला नहीं है। - सांप के काटने का बॉडी पर कितनी जल्दी और कैसा असर होगा, यह इस पर डिपेंड करता है कि किस सांप ने काटा है। कुछ सांप के काटने पर ब्लड पर असर होता है कुछ के काटने पर नर्वस पर। - जहां सांप ने काटा है, उसे जगह को कपड़े सा हल्का सा बांध लेना चाहिए। जल्द से जल्द डॉक्टर के पास जाना चाहिए। डेढ़ से दो घंटे में जहर पूरी बॉडी में फैल सकता है। इसलिए इस अवधि के अंदर ही डॉक्टर के पास जाना जरूरी है। सांप के काटने पर क्या करें और क्या न करें... क्या न करें क्या करें क्या करना चाहिए दो तरह के सांप काटने की घटनाएं होती हैं। एक कैरत सांप के काटने पर और दूसरी कोबरा के काटने पर। जब कैरत सांप काटता है तो उसके काटने का निशान किसी मच्छर के डंक जैसा लगता है। लेकिन इससे सूजन होने लगती है। जबड़े और घुटनों में दर्द होने लगता है। इसका मतलब है कि शरीर में जहर फैलने लगा है। वहीं अगर कोबरा काट ले तो उस जगह पर अधिक सूजन हो जाती है। वह जगह घाव की तरह दिखने लगती है। इससे आंखों और पेट में परेशानी शुरू हो जाती है। जह भी कोई सांप काटे तो उस व्यक्ति के साथ तुरंत निम्न उपचार करने चाहिए। 1- जिस जगह सांप ने काटा है, शरीर का वह हिस्सा बिलकुल भी नहीं हिलना चाहिए। उस जगह पर स्क्रब या बीटाडीन का इस्तेमाल कर सकते हैं। ब्लीडिंग होने पर खून को निकलने दें और बाद में इन चीजों का इस्तेमाल कर सकते हैं। 2- पीड़ित व्यक्ति को जल्द से जल्द अस्पताल ले जाना चाहिए। जरा सी लापरवाही से जान तक जा सकती है। 3- अस्पताल ले जाने से पता लगेगा कि घाव कितना गहरा है और क्या-क्या सावधानियां बरतनी हैं। क्या न करें 1- सांप काटने पर किसी झोलाछाप डॉक्टर, बाबा या नीम की पत्ती को चबा कर देखना कि वह कड़वा लग रहा है या मीठा, यह सब नहीं करना चाहिए। 2- जहांं सांप ने काटा है वहां सीरा नहीं लगाना चाहिए इससे सेप्टिक होने के चांस बढ़ जाते हैं। न ही उस जगह को जलाने की कोशिश करनी चाहिए। 3- सांप काटने पर तनाव से भी बचने की कोशिश करें। अक्सर तनाव में आकर ही लोगों की मौत हो जाती है। ये भी पढ़ें: इंटर में हैं या बीए में एनसीसी नहीं लिए हैं तो ले लीजिए, सेना में नौकरी की है पूरी गारंटी हिंदू धर्म में सांप को देवता का दर्जा दिया गया है, और नागपंचमी को नागपूजन का विशेष पर्व भी माना जाता है। परंतु यह भी पूर्णत: सत्य है, कि सांप या नाग धरती पर सबसे विषैले जंतुओं में से एक है, जिसे काटने पर पीड़ित व्यक्ति की मृत्यु होना भी संभव है। > सांप के काटने की स्थिति में कई बार यह पता नहीं होता कि क्या किया जाए और क्या नहीं... ऐसे में एक छोटी सी गलती भी पीड़ित व्यक्ति को मौत के मुंह में ले जा सकती है। आइए जानते हैं कि सांप के काटने पर क्या करें - सांप कटने से दुनियाभर में होने वाली मौतों की संख्या में भारत सबसे आगे है। डब्ल्यूएचओ के मुताबिक हर साल 83,000 लोग सांप के दंश का शिकार होते हैं और उनमें से 11,000 की मौत हो जाती है। मौत का सबसे बड़ा कारण है तुरंत प्राथमिक उपचार न होना। भारत में सांपों की लगभग 236 प्रजातियां हैं। इनमें से ज्यादातर सांप जहरीले नहीं होते। आम धारणा है कि सभी सांप खतरनाक होते हैं, लेकिन ऐसे सांपों के काटने से सिर्फ जख्म होता है, मौत दहशत के कारण हो जाती है। देश में जहरीले सांपों की 13 प्रजातियां हैं, जिनमें से चार बेहद जहरीले होते हैं- कोबरा (नाग), रस्सेल वाइपर, स्केल्ड वाइपर और करैत। देश में सबसे ज्यादा मौतें नाग या गेहुंवन व करैत के काटने से होती हैं। हार्ट केयर फाउंडेशन ऑफ इंडिया के अध्यक्ष और इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) के ऑनरेरी सेक्रेटरी जनरल डॉ. के.के. अग्रवाल बताते हैं, ‘‘हम सभी को सांप के काटने पर प्राथमिक उपचार की जानकारी होनी चाहिए। उचित समय पर सही इलाज सांप से होने वाली मौत को टाल सकता है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमें याद रखना चाहिए कि सभी सांप खतरनाक नहीं होते, इसलिए सांप के काटने पर घबराना नहीं चाहिए। प्राथमिक उपचार के तौर पर सबसे पहले जहर को फैलने से रोकना चाहिए और मरीज को जल्दी से जल्दी किसी स्वास्थ्य केंद्र में पहुंचाना चाहिए।’’ बकौल डॉ. अग्रवाल, इन बातों को हमेशा याद रखें : -पीड़ित को सांप से दूर ले जाएं और घबराहट दूर करने में उसकी मदद करें डॉ. अग्रवाल ने कहा कि आमतौर पर यह मिथक है कि सांप काटी जगह पर रक्त संचार बंद करने के लिए खूब कसकर पप्ती बांध देनी चाहिए और मुंह से खींचकर जहर निकाल देना चाहिए, लेकिन इन चीजों से परहेज करना चाहिए। दरअसल, इनसे नसों और रक्त धमनियों को नुकसान पहुंचने और संक्रमण होने का खतरा रहता है। उन्होंने बताया कि मुंह से खींचने पर जहर बहुत कम निकलता है। दबाव वाली पप्ती बांधने से रक्त धमनियां फट सकती हैं और मरीज को गंभीर नुकसान पहुंचा सकती हैं। सांप के काटने का असर कितने दिन तक रहता है?क्योंकि सांप को मारने या काटने के बाद भी उसका फन जीवित रहता है। कैरोलिना यूनिवर्सिटी के सर्प विशेषज्ञ सेन पुश के अनुसार, सांप का फन कट जाने के बाद भी करीब 90 मिनट तक जीवित रहता है। यानी वो इस दौरान तक किसी को डंस सकता है। इसके पीछे वैज्ञानिक वजहें भी हैं।
सांप के काटने के बाद क्या खाना चाहिए?सांप के काटने पर पीड़ित को तुरंत थोड़ा ज्यादा घी खिलाकर उल्टी करवा दें। इसके बाद उसे 10-15 बार गुनगुना पानी पिलाकर उल्टी कराएं। इससे सांप के जहर का असर कम हो जाएगा। कंटोला की सब्जी को पीसकर तुरंत उस जगहें पर लगा दें जहां सांप ने काटा हो।
सांप के काटने पर रोगी को क्या नहीं देना चाहिए?सांप काट लें तो क्या नहीं करें
* बर्फ अथवा अन्य गर्म पद्धार्थ का इस्तेमाल काटे हुए स्थान पर न करें। * अप्रशिक्षित व्यक्ति द्वारा रक्त स्त्राव को रोकने रक्तबंध की पट्टी न बंधवाएं। इससे संबंधित अंग में रक्त संचारण पूरी तरह से रूक सकता है। इस स्थिति में संबंधित अंग की क्षति हो सकती है।
सांप के काटने का इलाज क्या है?सांप काटने पर तुरंत करें ये काम:. सांप अगर काट ले तो कोशिश करें की जिस जगह पर काटा है, शरीर का वह हिस्सा बिल्कुल भी ना हिले।. जहां काटा है, उस जगह पर बीटाडीन या फिर स्क्रब सोल्यूशन का इस्तेमाल कर सकते हैं। ... . कोशिश करें कि जल्दी-से-जल्दी अस्पताल पहुंचे।. अस्पताल में जाने से आपको यह पता चलेगा की घाव कितना गहरा है।. |