पपीता का पेड़ लगाने से क्या होता है? - papeeta ka ped lagaane se kya hota hai?

पपीते के पेड़ में फल नहीं लग रहे तो इसके कई कारण हो सकते हैं। आप चाहें तो यहां बताए गए टिप्स की मदद से इसकी देखभाल कर सकते हैं।

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पपीते का पेड़ घर के गार्डन में आसानी से लगाया जा सकता है। यह अन्य पेड़ों की तुलना में कम जगह लेता है और इसके फल से लेकर पत्तियां तक औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं। इसलिए ज्यादातर घरों में इसका पौधा लगाया जाता है। घर में  पपीता दो तरीके से उगाया जा सकता है। पहला बीज से और दूसरा पोधे के जरिए, दोनों ही तरीका घर के गार्डन में  पपीता  उगाया जा सकता है। कई बार ऐसा देखा गया है कि पपीते के पेड़ में फल नहीं लगते। यही नहीं फूल आते और झड़ जाते है, लेकिन फल लगने का नाम नहीं लेते।

बता दें कि पपीते का पेड़ 7 से 8 महीने बाद फल देना शुरू कर देता और यह चार साल तक जीवित रहता है। इसके बाद वह धीरे-धीरे मुरझाना शुरू कर देता है। ऐसी स्थिति में ज्यादातर लोग इसे जड़ से निकालकर फेंक देते हैं और उस जगह पर दोबारा पपीता का पौधा लगा देते हैं। अगर आपने भी अपने घर के गार्डन में पपीते का पौधा लगाया है, तो कुछ बातों का ख्याल रखना जरूरी है,क्योंकि सही देखरेख नहीं होने की वजह से यह फल नहीं दे पाता।

पपीते का कौन सा पौधा लगाना चाहिए

पपीता का पेड़ लगाने से क्या होता है? - papeeta ka ped lagaane se kya hota hai?

  • बीज से पपीता उगाने के लिए किसी बीज भंडार या ऑनलाइन स्टोर organicbazar.net से बीज खरीदें।
  • पपीता के बीज बोने से पहले इसे धोकर इसके ऊपर लगे जिलेटिन की कोटिंग (gelatinous coating) को हटाएं।
  • आप पपीते के उच्च गुणवत्ता पूर्ण बीजों की बुआई करने के लिए बीजों को सादे पानी में डालें। कुछ समय जो बीज पानी की तरह पर तैर रहे हों, उन्हें अलग कर दें, और तली में बैठने वाले बीजों को बुआई के लिए उपयोग में लायें।
  • आप इन बीजों को बोने से पहले गीले सूती कपड़े में बांधकर 2-3 दिन तक रख सकते हैं।
  • बीज में जब सफेद अंकुरण दिखने लगे तब आपका बीज बोने के लिए तैयार है।
  • अब कंटेनर, गमले या सीडलिंग ट्रे (seedling tray) में बीज बोएं। मिट्टी में बीज से पौधा बनने में 2 से 3 हफ्ते का समय लगेगा। पौधा तैयार होने के बाद इसे किसी अन्य बड़े कंटेनर में लगाया जा सकता है।

पपीते के पौधे को पानी कैसे दें – How to provide water to papaya plant in Hindi

पपीते को ग्रो करने के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी की जरूरत होती है। अंकुरण की प्रकिया में और पौधे को रोपने के शुरूआती कुछ महीनों तक पपीते को नियमित पानी देने की जरूरत पड़ती है। शुष्क मौसम में पानी की मात्रा बढ़ा देनी चाहिए और कई बार पानी देना चाहिए। मिट्टी को बहुत अधिक गीला नहीं बल्कि नम रखें और जब मिट्टी के ऊपर 1 इंच तक की सतह सूख जाए तभी पौधे में पानी डालें। 

(और पढ़ें: 5 टिप्स की मदद से रखें गर्मियों में पौधों को ठण्डा…)

पपीते के पौधे के लिए आवश्यक धूप – Light required for Papaya plant in Hindi

पपीते के पौधे को अच्छी तरह से ग्रो करने के लिए पर्याप्त धूप की जरूरत होती है। पपीते के पौधे को जितनी अधिक सीधी धूप (direct sunlight) मिलेगी, वह उतना ही स्वस्थ होगा और अधिक फल लगने की संभावना भी बढ़ेगी। पपीते के पौधे को प्रतिदिन कम से कम 6 से 8 घंटे सीधी धूप की जरूरत होती है। इसलिए अपने गमले या कंटेनर को हमेशा ऐसी जगह पर रखें, जहां पपीते को पर्याप्त मात्रा में धूप मिल सके।

पपीता के पौधे के लिए उर्वरक – Fertilizer for Papaya plant in Hindi

घर पर लगे पपीते के पेड़ पर तेजी से फल आने के लिए इसमें समय पर खाद देने की जरूरत पड़ती है। हर दो हफ्ते बाद पपीते के पेड़ में खाद डालना चाहिए। अगर आप ड्वार्फ (बौना) पपीता लगा रहे हैं, तो प्लाटिंग होल (planting hole) में एक पाउंड (लगभग 450 ग्राम) ट्रिपल सुपरफॉस्फेट (triple superphosphate) डालें। इसके अलावा पपीते के पेड़ को सीधे नाइट्रोजन भी दिया जा सकता है।

पपीते पर लगने वाले कीट और रोग – Papaya plant Pests and diseases in Hindi

पपीते के पेड़ पर अधिक कीड़े नहीं लगते हैं। हालांकि स्पाइडर माइट्स (spider mites), थ्रिप्स (Thrips) और व्हाइटफ्लाई (whiteflies) इत्यादि कीट फल और पेड़ को अधिक नुकसान पहुंचाते हैं। नीम तेल (neem oil) का स्प्रे कीटों और फफूंदी से छुटकारा दिलाता है। हालांकि कीटनाशक या किसी रासायनिक स्प्रे का छिड़काव खाने वाले पपीते के फलों पर न करें।

(और पढ़ें: पौधों से एफिड्स कैसे निकालें?….)

पपीता कब तोड़ने मिलेगा – Papayas Harvesting time in Hindi

पपीते के पेड़ पर 10 से 12 महीने में फल तोड़ने के लिए तैयार हो जाते हैं। पपीते का फल धूप के प्रति संवेदनशील होता है, इसलिए इसे दस्ताने (gloves) पहनकर तोड़ना चाहिए। पेड़ से फल तभी तोड़ना चाहिए जब फल का रंग पीला हो जाए। कई बार 6 से 9 महीने के बीच ही ड्वार्फ पपीते का फल तोड़ने के लिए तैयार हो जाता है।

पपीते के पौधे की देखभाल – Papaya plant care in Hindi

पपीता का पेड़ लगाने से क्या होता है? - papeeta ka ped lagaane se kya hota hai?

  • आमतौर पर पपीते के पेड़ को हफ्ते में एक बार पानी की जरूरत पड़ती है। लेकिन कंटेनर या गमले में लगे पपीते के पेड़ को अधिक बार पानी देने की जरूरत पड़ती है। इसलिए नियमित या हफ्ते में तीन दिन पानी दें।
  • ग्रोइंड सीजन के दौरान पौधे को खाद दें। शुरूआत में पौधे में गोबर या जैविक खाद डालें। इसके बाद रासायनिक खाद डाला जा सकता है।
  • पपीते के पौधे को छांटने या प्रूनिंग (pruning) की जरूरत नहीं होती है। लेकिन यदि जरूरत पड़े तो छंटाई की जा सकती है।
  • इसे धूप वाली किसी भी जगह पर उगाया जाना चाहिए।
  • पपीते के पेड़ को तेज हवाओं से बचाने की जरूरत होती है।
  • पपीते के पौधे पर ब्लैक लीफ स्पॉट रोग की अधिक समस्या होती है। इसके लिए नीम तेल का पौधे पर छिड़काव करें।

(और पढ़ें: पौधे की ग्रोथ के लिए अच्छी मिट्टी…)

निष्कर्ष – Conclusion

पपीता उगाने के लिए गार्डन या बड़ी जगह की जरूरत नहीं है। इसे कंटेनर या गमले में आसानी से उगाया जा सकता है। इसके लिए आपको बौने पपीते (dwarf Papaya) की किस्म के बीज खरीदने पड़ेगे। कंटेनर में ड्वार्फ पपीते के पेड़ अच्छी वृद्धि करते हैं और समय पर फल लगते हैं। अगर आप भी पपीता उगाना चाहते हैं, लेकिन जगह की कमी के कारण अपने शौक पूरे नहीं कर पा रहे हैं तो आप कंटेनर या गमले में बौना पपीता उगाकर अपने शौक पूरे कर सकते हैं।

पपीता का पेड़ घर में लगाने से क्या होता है?

आइए जानते हैं कि पपीता घर में लगाने से क्या होता है पपीता अगर घर की उत्तर दिशा में पर्याप्त जगह है तो पपीते का पेड़ लगाएं पपीते की पत्तियों का रस रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है और इसका फल पाचन संबंधित रोगों को दूर कर देता है क्योंकि पपीते में 32 कैलरीज पाए जाते हैं इसकी वजह से पेट संबंधित जितने भी रोग होते हैं सारे ...

पपीता का पौधा कौन से महीने में लगाया जाता है?

साफ शब्दों में अगर कहें तो इसकी खेती 10 से 30 डिग्री सेल्सियस तापमान के अंदर करना ज्यादा उपयुक्त है. इसके अलावा पौधे का विकास हो उसके लिए दोमट या बलुई मिट्टी ज्यादा उपयुक्त होती है. मिट्टी का पीएच मान 6.5 से 7 हो तो ज्यादा बेहतर है. साथ ही पपीते के पौधे को ठंड और गरम दोनों मौसम में लगाया जा सकता है.

घर में कौन से पौधे अशुभ होते हैं?

घर पर कुछ पेड़ों का लगाने से नकारात्मक ऊर्जा आती है. ऐसे में वास्तु शास्त्र में कुछ पेड़ों को घर पर लगाने से मनाही है- जैसे बेर, खजूर, बोनसाई, इमली का पेड़. इन पेड़ों को घर पर लगाना अशुभ माना जाता है. इनको घर से दूर ही लगाना सही माना जाता है.

पपीता घर पर कैसे लगाएं?

आप अपने घर पर या गार्डन में पपीता को वसंत (फरवरी-मार्च), मानसून (जून-जुलाई) और शरद ऋतु (अक्टूबर-नवंबर) के दौरान लगा सकते हैं। कंटेनर या गमले में पपीता उगाने के लिए दोमट मिट्टी में पर्याप्त कार्बनिक पदार्थों को अच्छी तरह से मिलाएं। इससे बौने अर्थात ड्वार्फ पपीते में हेल्दी फल आते हैं।