हटके डेस्क: अगर आपको ऐसा लगता है कि दुनिया में हिन्दुओं की संख्या मुस्लिमों से अधिक है तो आप बिलकुल गलत हैं। धर्म के नाम पर आबादी को तौलें तो दुनिया में सबसे अधिक संख्या में ईसाई लोग रहते हैं। इसके बाद दूसरे नंबर पर आते हैं मुस्लिम। जी हां, दुनिया जनसंख्या के हिसाब से मुसलमानों की संख्या दूसरे नंबर पर है। वहीं हिंदू धर्म तीसरे स्थान पर आता है। आपको जानकर हैरानी होगी कि दुनिया में कुल 197 देशों में से 57 देश इस्लामिक हैं। इसके अलावा बाकी देशों में भी मुस्लिमों ने अपनी मजबूत जगह बनाई हुई है। हालांकि, दुनिया में एक ऐसा देश है, जहां एक भी मुस्लिम आपको नहीं मिलेगा। आइये जानते हैं इस अनोखे देश के बारे में... Show
भारत एक सेक्युलर देश है। यहां हर धर्म के लोग रहते हैं और हर धर्म के लोग पूजा-पाठ करते हैं। किसी को कोई रोक-टोक नहीं है। यहां होली से लेकर ईद और गुरुपर्व भी मनाया जाता है। भारत में वैसे तो हिंदू समाज की संख्या ज्यादा है लेकिन धीरे-धीरे यहां मुस्लिम वर्ग भी अपनी पकड़ बनाता जा रहा है। बात अगर दुनिया में धर्म के आधार पर जनसँख्या की करें,तो कुल 7.8 बिलियन लोगों में से 2.2 बिलियन ईसाई धर्म के लोग रहते हैं। इसी के साथ ईसाई धर्म दुनिया में फॉलो किया जाने वाला सबसे बड़ा धर्म है। ईसाई के बाद इस्लाम का नंबर आता है। दुनिया में 1.6 अरब मुस्लिम रहते हैं। सबसे अधिक मुस्लिम इंडोनेशिया में रहते हैं। यहां उनकी संख्या 20 करोड़ है। यानी इतनी बड़ी आबादी यहां इस्लाम को मानती है। दुनिया के 197 देशों में से 57 देशों को मुस्लिम राष्ट्र घोषित किया गया है। इसी से समझा जा सकता है कि इस्लाम की पकड़ दुनिया में कितनी है? हिंदू मुस्लिमों से कम हैं। दुनिया में हिंदू धर्म मानने वाले लोगों की संख्या 1 अरब है। दुनिया में मुस्लिम भले ही अपनी पकड़ बनाते जा रहे हैं लेकिन एक ऐसा देश भी है, जहां एक भी मुस्लिम नहीं रहता। जी हां, हम बात कर रहे हैं वेटिकन सिटी की। इस देश में मुस्लिम समाज का एक भी इंसान आपको नहीं मिलेगा। वेटिकन सिटी दुनिया का सबसे छोटा देश है। इसे इंटरनेशनल मान्यता मिली हुई है। लेकिन इस देश में एक भी मुस्लिम नहीं रहता। इस देश की स्थापना 1929 में हुई थी। ये देश इटली की राजधानी रोम के बीच बसा हुआ है। इस देश में ईसाई धर्म के पोप का रूल चलता है। बात अगर इस देश की टोटल जनसँख्या की करें, तो 2020 में यहां मात्र 801 रहते थे। आंकड़ा यूएन वर्ल्ड पॉप्युलेशन प्रॉस्पेक्ट्स के आधार पर है। इसमें ज्यादातर लोग ईसाई धर्म को मानते हैं। देश की जनसंख्या के आधार पर यहां एक भी मुस्लिम नहीं है। यहां मुस्लिम टूरिस्ट बनकर आते हैं। लेकिन किसी को भी देश की नागरिकता नहीं मिली है। ऐसे में वेटिकन सिटी दुनिया का इकलौता देश है, जहां एक भी मुस्लिम नहीं रहता। --></div></div><div class="pure-u-1 pure-u-md-1-1 pure-u-lg-1-4 rightside"><div class="taboolaMob"><div class="right-ad-0"><div class="empty-component" data-component="empty-component" data-widget="fb-like-our-page"><style> .emptyComponent{ margin-bottom:20px; } .emptyComponent .section-title{ margin-bottom: 20px; } .ipl-sponsor-adcode{ margin-bottom: 20px; } @media(max-width:767px){ .emptyComponent .section-title{ margin-bottom: 20px; margin-top: 22px; } } </style><div class="emptyComponent"><div class="like-our-page"><iframe src="https://www.facebook.com/plugins/page.php?href=https%3A%2F%2Fwww.facebook.com%2FAsianetnewsHindi%2F&tabs&width=300&height=130&small_header=false&adapt_container_width=true&hide_cover=false&show_facepile=false&appId=980143985417502" width="300" height="130" style="border:none;overflow:hidden" scrolling="no" frameborder="0" allowtransparency="true" allow="encrypted-media"></iframe></div></div><div class="slot-350 article-card"><div class="hidden-md hidden-lg"></div></div></div></div><div class="right-ad-1"><div class="ad" data-component="ad" data-widget="desktop_hindi_ros_top_article"><div><div id="desktop_hindi_ros_top_article"> <script> googletag.cmd.push(function() { googletag.display('desktop_hindi_ros_top_article'); if(typeof(adslot0) != 'undefined') { googletag.pubads().refresh([adslot0]); } }); प्यू रिसर्च सेंटर (Pew Research Center) के मुताबिक फिलहाल जो डेमोग्राफिक चलन है, उसे देखते हुए साल 2050 तक दुनिया की धार्मिक आबादी (religious population) में तेजी से घट-बढ़ हो सकती है. वहीं हिंदू आबादी (Hindu population) चौथा बड़ा धार्मिक समुदाय हो सकता है.
1/ 8 दुनिया के लगभग सभी देशों में धार्मिक आबादी में तेजी से बदलाव हो रहा है. अमेरिकन थिंक टैंक प्यू रिसर्च सेंटर (Pew Research Center) ने इसपर स्टडी की, जिसमें कई चौंकाने वाली बातें निकलकर आईं. साल 2015 में हुई इस स्टडी में में पाया गया कि अगले चार दशकों में दुनिया में धार्मिक आबादी में बड़ा फेरबदल होगा. इसमें क्रिश्चिएनिटी, इस्लाम और अनेक धर्मों समेत हिंदू धर्म को भी देखा गया और ये समझने की कोशिश की गई कि अगले 40 सालों में कौन से देश में किस तरह की धार्मिक आबादी का बोलबाला होगा. सांकेतिक फोटो (pixabay) 2/ 8 प्यू की इस स्टडी में पाया गया कि साल 2050 में हिंदू धर्म पर यकीन करने वाले लोगों की आबादी वैश्विक आबादी का 15% होगी. हिंदू धर्म को मानने वाले सबसे ज्यादा लोग भारत में होंगे, और तब उनकी आबादी 1.297 बिलियन हो सकती है. फिलहाल भी हिंदू धर्म को मानने वाले सबसे ज्यादा हैं जो कि कुल जनसंख्या का 79.8 फीसद हैं. सांकेतिक फोटो (pixabay) 3/ 8 दूसरे नंबर पर नेपाल है, जहां हिंदुओं की आबादी 38.12 मिलियन होगी. साल 2011 की नेपाल की जनगणना में, लगभग 81.3 प्रतिशत नेपाली लोगों ने खुद को हिंदू बताया. साल 2006 से पहले ये देश हिंदू राष्ट्र रह चुका है, जिसने बाद में खुद को धर्मनिरपेक्ष घोषित किया था. हालांकि अब यहां राजनैतिक और आर्थिक संकट के बीच धर्म परिवर्तन की खबरें खूब आने लगी हैं. सांकेतिक फोटो (pixabay) 4/ 8 बांग्लादेश विश्व का तीसरा वो देश होगा, जहां सबसे ज्यादा हिंदू बसते होंगे. साल 2011 में यहां हुआ सेंसस बताता है कि हिंदू धर्म यहां की पहली माइनोरिटी है, जिसमें लगभग 8.96% आबादी शामिल है. इस तरह से वर्तमान में भी आबादी के मामले में, बांग्लादेश भारत और नेपाल के बाद दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा हिंदू देश है. सांकेतिक फोटो (pixabay) 5/ 8 भारत के पड़ोसी देश पाकिस्तान में लगभग 5.63 मिलियन हिंदू होंगे और इस तरह से ये चौथा सबसे ज्यादा हिंदू आबादी वाला देश हो सकता है. हालांकि फिलहाल पाकिस्तान में माइनोरिटी के हालात खास बेहतर नहीं और लगातार जबरन धर्मपरिवर्तन जैसी खबरें आ रही हैं. ऐसे में कहा नहीं जा सकता कि आगे हालात किस करवट बैठेंगे. सांकेतिक फोटो (pixabay) 6/ 8 पांचवे स्थान पर अमेरिका को देखा जा रहा है, जहां सबसे ज्यादा हिंदू आबादी हो सकती है. प्यू रिसर्च सेंटर के मुताबिक साल 2050 में वहां 4.78 मिलियन हिंदू होंगे. रिसर्च सेंटर ने 'रिलिजियस लैंडस्केप स्टडी' के तहत ये औसत निकाला था, तब साल 2015 में अमेरिका की हिंदू आबादी 22.3 लाख हो चुकी थी. सांकेतिक फोटो (pixabay) 7/ 8 अमेरिका के तुरंत बाद छठवें स्थान पर इंडोनेशिया हो सकता है. प्यू के मुताबिक अगले 30 सालों में यहां हिंदू आबादी 4.15 मिलियन हो सकती है. वैसे बता दें कि फिलहाल इंडोनेशिया एक मुस्लिम बहुल आबादी वाला राष्ट्र है, जो पूरी तरह से इसी धर्म का पालन करता है. बाकी धर्मों के लोग यहां अल्पसंख्यक हैं, जिनमें हिंदू भी शामिल हैं. सांकेतिक फोटो (pixabay) 8/ 8 इसके बाद क्रमशः श्रीलंका, मलेशिया, यूनाइटेड किंगडम और कनाडा हो सकते हैं, जहां हिंदुओं की आबादी ज्यादा हो सकती है. हालांकि ये चार से एक मिलियन के बीच सिमटकर रहने का अनुमान लगाया जा रहा है. इन सबके बीच जो नया डेमोग्राफिक ट्रेंड है, उससे कई दूसरी बातें भी निकलकर आ रही हैं. जैसे अगले कुछ दशकों में ईसाई धर्म को मानने वाली आबादी कम होगी, जबकि मुस्लिम आबादी तेजी से बढ़ेगी. ऐसे में दुनिया में पहली बार ईसाई और मुस्लिम धर्म लगभग बराबर की आबादी पर आ खड़े होंगे. सांकेतिक फोटो (pixabay) First Published: April 04, 2021, 11:15 IST विश्व में हिंदुओं के कितने देश हैं?1. विश्व में भारत, नेपाल और मॉरीशस में हिन्दू बहुसंख्यक हैं। 2. अनुमानित रूप से विश्व के करीब 52 से अधिक देशों में हिंदू रहते हैं, जिसमें अमेरिका, कनाडा, ब्रिटेन, रशिया, ऑस्ट्रेलिया, यूक्रेन, दक्षिण कोरिया, जापान, दक्षिण अफ्रीका, नॉर्वे, जर्मन, सूरीनाम, मॉरीशस और हालैंड का नाम प्रमुखता से लिया जाता है।
विश्व में हिंदू देश कौन कौन है?२०१० के अनुमान के अनुसार हिन्दू जनसंख्या बहुमत रूप से नेपाल, भारत और मारीशस में है। गयाना, फिजी, त्रिनिदाद और टोबैगो, सूरीनाम में बड़े समूह के रूप में हिन्दू अल्पसंख्यक रहते हैं।
मुस्लिम देश कौन कौन से हैं?इस जनसंख्या में लगभग 90 प्रतिशत से अधिक लोग इस्लाम धर्म का पालन करते है। इसके बाद मुस्लिम समुदाय के लोग सबसे अधिक पकिस्तान में निवास करते है। दुनिया की कुल 23 प्रतिशत जनसँख्या इस्लाम धर्म की है। वर्तमान समय में इंडोनेशिया ,पकिस्तान ,तुर्की ,बांग्लादेश ,ईरान ,एवं भारत देश में इस समुदाय के लोग सबसे अधिक निवास करते है।
दुनिया में कुल कितने मुस्लिम देश है?यह सभी 57 मुस्लिम देशों में रहने वाली कुल जनसंख्या 1 अरब है जो पूरी तरह से इस्लाम धर्म को मानती है। पूरी दुनिया में मुस्लिम समुदाय के लोगों की संख्या मौजूद है, मुस्लिम देशों के अतिरिक्त बाकी के बचे 0.6 अरब मुस्लिम अन्य देशों में निवास करते हैं, जिनमे केवल एक वैटिकन सिटी है जहाँ मुस्लिम आबादी वास नहीं करती है।
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