आपके विद्यालय में वार्षिकोत्सव का आयोजन किया गया उसका एक प्रतिवेदन तैयार कीजिए - aapake vidyaalay mein vaarshikotsav ka aayojan kiya gaya usaka ek prativedan taiyaar keejie

जनवरी या फरवरी के माह में विद्यालयों एवं कॉलेजों में वार्षिक उत्सव का आयोजन किया जाता है।इस समय सत्र समाप्ति की ओर होता है और परीक्षा के आयोजन से पहले वार्षिक उत्सव विद्यार्थियों में चरम उत्साह का संचार करता है। वार्षिक उत्सव पर एक रिपोर्ट तैयार की जाती है जिसे वार्षिकोत्सव का प्रतिवेदन कहा जाता है।

Anual function report in Hindi. Annual function prativedan Hindi mein. वार्षिक उत्सव समारोह का प्रतिवेदन। Annual Function Celebration Report in Hindi.

आज हम इस लेख में जानेंगे कि वार्षिक उत्सव का प्रतिवेदन किस तरह से तैयार किया जाता है। प्रायः विद्यालयों में वार्षिकोत्सव की रिपोर्ट तैयार कर यह प्रतिवेदन उच्च स्तर के अधिकारियों को प्रेषित किया जाता है।

विद्यालय वार्षिक उत्सव का संचालन कैसे करें, इसके लिए आप यह पोस्ट पढ़ सकतें हैं।

Anual Function in script Hindi. विद्यालय मंच संचालन शायरी।

जब भी हम स्कूल या कॉलेज में कोई उत्सव या समारोह का आयोजन करते हैं तो उसकी समस्त गतिविधियों को लेकर एक रिपोर्ट तैयार करते हैं जिसे प्रतिवेदन कहा जाता है, अगर आपने अपने विद्यालय या कॉलेज के वार्षिकोत्सव का प्रतिवेदन तैयार करना है तो आप इस पोस्ट में जानेंगे कि अपने विद्यालय के वार्षिकोत्सव का प्रतिवेदन कैसे तैयार करें।

विद्यालय का वार्षिकोत्सव समारोह का प्रतिवेदन कैसे तैयार करें

विद्यालय में वार्षिकोत्सव पर संचालित समस्त गतिविधियों का अवलोकन कर उन्हें क्रमबद्ध ढंग से संक्षिप्त में परंतु सभी कार्यक्रमों को सम्मिलित करते हुए एक संक्षिप्त रिपोर्ट तैयार की जाती है जो की वार्षिक उत्सव का प्रतिवेदन कहा जा सकता है।

मैंने इस पोस्ट में विद्यालय में मनाए जाने वाले वार्षिक उत्सव का एक प्रतिवेदन तैयार किया है जिसे आप देख सकते हैं और उसमें अपने विद्यालय में संचालित गतिविधियों के अनुसार संशोधन करके रिपोर्ट तैयार कर सकते हैं। जिसके लिए निम्न बिंदु सहायक होंगे।

वार्षिक उत्सव का प्रयोजन क्या है

हम जानतेे हैं कि वार्षिक उत्सव मनाने की कोई नई परंपरा नहीं है। आज से कई वर्षों पहले भी वार्षिक उत्सव विद्यालयों में वार्षिक उत्सव या दीक्षांत समारोह के रूप में मनाए जाते थे। सामान्यतः यह आयोजन पहले सायं काल को किया जाता था और देर रात तक चलता था। अब हमने इसे नई परंपरा में Anual Function celebration नाम दे दिया है।

वार्षिक उत्सव मनाने का हमारा प्रयोजन है, छात्रों में सामाजिकता, सामूहिकता और संगठनात्मकता की भावना विकसित करना।

विद्यालय या कॉलेज के सभी छात्र इसमें पार्टिसिपेट करते हैं और उन्हें नया अनुभव मिलता है। उनमें सांस्कृतिकता की भावना विकसित होती है हालांकि आजकल यह सब पश्चिमी सभ्यता से प्रभावित हो गया है।

विद्यालय में सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजन महत्व और प्रकार पढ़ें यहां

वार्षिक उत्सव या ऐसे समारोह विद्यालय या कॉलेज का दर्पण होते हैं। वार्षिक उत्सव के आयोजन पर संबंधित संस्था और उसमें अध्ययनरत विद्यार्थियों का चरित्र निखर कर आता है।

वार्षिकोत्सव की पूर्व तैयारी

विद्यालय या कॉलेज में वार्षिक उत्सव मनाने के लिए पूर्व में ही निर्धारित तिथि का निर्णय कर लिया जाता है और विद्यार्थियों एवं उनके अभिभावकों तथा गणमान्य अतिथियों को इस संबंध में सूचना दे दी जाती है।

प्रायः आजकल सभी विद्यालय एवं कॉलेज में बाकायदा इसके लिए आमंत्रण पत्र छपाए जाते हैं और उन्हें मुख्य अतिथि, विशिष्ट अतिथि तथा गणमान्य नागरिकों को भी विद्यालय में आने और छात्रों को प्रोत्साहित करने के लिए आमंत्रित किया जाता है।

स्कूल प्रबंधन एवं स्टाफ साथी इसके लिए वार्षिक उत्सव योजना से संबंधित तैयारियां करते हैं और विद्यार्थी सांस्कृतिक कार्यक्रम एवं अपनी प्रस्तुति के लिए अभ्यास तथा तैयारी करते हैं।

वार्षिक उत्सव आयोजन के लिए संपूर्ण रूपरेखा पहले से बना ली जाती है और निर्धारित तिथि को कोई भी कार्यक्रम अव्यवस्थित ना हो इसलिए वार्षिक उत्सव के पहले दिन ही पूरी तैयारी कर ली जाती है।

विद्यालय वार्षिक उत्सव प्रतिवेदन

विद्यालय में वार्षिक उत्सव मनाने के बाद उसकी रिपोर्ट या प्रतिवेदन किस तरह से तैयार किया जाता है, यह मैं आपको बता रहा हूं परंतु हर विद्यालय या कॉलेज का स्तर अलग होता है इसलिए मैं क्षमा प्रार्थी हूं। आप अपने अनुसार संशोधन करके अपने विद्यालय वार्षिकोत्सव की रिपोर्ट तैयार कर सकते हैं।

आज हमारे विद्यालय… राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक में वार्षिक उत्सव का आयोजन किया गया। वार्षिक उत्सव आयोजन बेहद सफल और उद्देश्य पूर्ण रहा।

वार्षिकोत्सव का समय प्रातः 8:00 बजे से रखा गया था परंतु विद्यालय में विद्यार्थी अभिभावक गण सभी बहुत जल्दी पहुंच गए और सब में एक उत्साह था।

हमारे विद्यालय में टेंट व्यवस्था, कैटरिंग व्यवस्था और अन्य सामग्री पूर्ण हो चुकी थी। सभी विद्यार्थियों में गजब का जोश था।

प्रातः सुबह सेे ही ग्राम वासियों और अन्य लोगों का आना जाना लग गया। सभी वार्षिक उत्सव पर उत्साहित हो रही थे। विद्यालय में अध्ययनरत विद्यार्थियों का जोश देखते ही बनता था।

निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार सभी व्यवस्थाएं पूर्ण कर ली गई और मुख्य अतिथि एवं विशिष्ट अतिथि के आने के बाद उनका मौखिक रूप से स्वागत किया गया।

मंच संचालन के लिए चुटकुले। मंच संचालन जोक्स

सबसे पहले संचालक ने गणेश वंदना और मां सरस्वती की आराधना की। उसके बाद मुख्य अतिथि और विशिष्ट अतिथियों ने मां सरस्वती और श्री गणेश की तस्वीर पर माल्यार्पण एवं पुष्प अर्जित करके स्तुति की।

तत्पश्चात कार्यक्रम संचालक ने विद्यालय की छात्राओं को अतिथि स्वागत एवं स्वागत गायन के लिए कहा। अतिथि देवो भव इसी परंपरा को निभाते हुए हमने विद्यालय प्रांगण में उपस्थित सभी व्यक्तियों का तिलक लगाकर और माला पहनाते हुए स्वागत किया।

साफा पहनाने की परंपरा हमारे भारतवर्ष में सदा से रही है इसलिए आगंतुक अतिथियों का माला पहनाकर साफा पहनाकर तथा तिलक लगाकर स्वागत किया गया।

आगंतुक अतिथियों और सभी पधारे हुए व्यक्तियों के स्थान ग्रहण करने के बाद सांस्कृतिक कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया।

सांस्कृतिक कार्यक्रमों में हमारे विद्यालय की बालिकाओं ने उत्कृष्ट नृत्य, देश भक्ति गीत और लोकगीत प्रस्तुत किए। कुछ छात्रों ने आधुनिक परंपरा में पश्चिमी डांस और गायन भी प्रस्तुत किए।

कार्यक्रम के मध्यांतर में पूर्व प्रतिभाशाली छात्रों का अभिनंदन किया गया और उन्हें प्रस्तति प्रमाण पत्र दिए गए।

हमारे विद्यालय में बोर्ड परीक्षा में प्रथम स्थान द्वितीय स्थान तथा तृतीय स्थान प्राप्त किए गए छात्रों को मंच पर बुलाया गया और उन्हें मुख्य अतिथियों के द्वारा प्रमाण पत्र और पुरस्कृत उपहार दिए गए।

बहुत सारे दानदाता और भामाशाह है विद्यालय के लिए उत्कृष्ट कार्य करते हैं उन्हें भी मंच पर बुलाकर सम्मानित किया गया। उन्हें प्रशस्ति पत्र दिए गए।

कार्यक्रम के मध्यांतर में ही गणमान्य व्यक्तियों, भामाशाह और अन्य प्रबुद्ध नागरिक जनो का मंत्र से संबोधन करवाया गया और उन्होंने विद्यार्थियों को नैतिकता, बुद्धिमता और जीवन में सफल होने के लिए अपने अनुभव शेयर किए और विद्यार्थियों को प्रेरणात्मक संज्ञान दिए।

इसके पश्चात प्रधानाचार्य ने विद्यालय के वर्तमान स्थिति और बोर्ड परीक्षा परिणाम तथा विद्यालय विकास की प्रगति के बारे में संबोधन प्रस्तुत किया और नागरिकों से आह्वान किया कि वे अधिक से अधिक विद्यालय की प्रगति में सहयोग करें।

किस तरह वार्षिक उत्सव के समापन के बाद सभी लोगों ने अल्पाहार ग्रहण किया और विद्यालय तथा विद्यालय के विद्यार्थियों और स्टाफ गण के प्रति आभार व्यक्त किया।

तो साथियों। विद्यालय में वार्षिक उत्सव हो या और कोई पर्व या समारोह हो सभी को सामूहिक संगठन से काम करना पड़ता है। बस एक भावना रखें, हमारा विद्यालय हमारा है।

सभी साथी मिलकर काम करते हैं और संगठन में ही एकता होती हैं। यह प्रतिवेदन मैंने अपने अनुभव के आधार पर लिखा है यदि आपको विद्यालय वार्षिकोत्सव प्रतिवेदन लिखने के बारे में अधिक जानकारी हो तो मुझसे शेयर अवश्य करें। मैं भी आपकी तरह एक अध्यापक ही हूं जो वर्तमान में करौली जिले के नादौती तहसील में कार्यरत हूं।

हम सभी विद्यालयों में वार्षिक उत्सव का संचालन कर रहे हैं यदि आपके पास कोई नई सूचना या प्रतिभा है तो कृपया मुझे अवश्य बताएं। वैसे आप जानते हैं विद्यालयों में सिर्फ फोरमल्टी रह गया है। धन्यवाद।

तो साथियों आप कोई यह विद्यालय वार्षिक उत्सव प्रतिवेदन कैसा लगा और इसके बारे में आप संबंधित सुझाव देना चाहते हैं तो मुझे अवश्य दें ताकि मैं और कुछ नया सुख सकूं।

मंच संचालन के लिए स्क्रिप्ट PDF और शायरी पीडीएफ में।

वार्षिक उत्सव पर प्रतिवेदन कैसे लिखते हैं?

अक्सर विद्यालय के वार्षिकोत्सव पर प्रतिवेदन लिखने के लिए बोला जाता है..
किसी भी प्रतिवेदन में रोचकता एवं क्रमबद्धता होना चाहिए..
यदि किसी घटना का सिलसिलेवार वर्णन प्रस्तुत किया जाए, तो विचारों की तारतम्यता टूटती है..
कटु सत्य से व्यक्ति परहेज़ करता है, अत: रिपोर्ट की शैली रोचक होनी चाहिए..

अपनी शाला में वार्षिक उत्सव मनाने हेतु आप क्या क्या तैयार करेंगे?

विद्यालयों में मनाए जाने वाले वार्षिकोत्सव के कई प्रयोजन माने गए है। अपनी शिक्षा पूरी कर चुके छात्रों को प्रमाण-पत्र आदि देकर विदा करना तो हर विद्यालय का प्रायोजन होता है। इसके अलावा वर्ष भर का लेखा-जोखा व उपलब्धियों पर सामूहिक समारोह करना भी होता है।

विद्यालय में वार्षिक उत्सव क्यों मनाया जाता है?

जासं, गुरुग्राम: सेक्टर 9 में स्थित ग्रीनवुड विद्यालय द्वारा वार्षिकोत्सव एक महत्वपूर्ण त्योहार की तरह मनाया जाता रहा है। यह विद्यालय के लिए आकर्षक का केंद्र है। इस वर्ष भी वार्षिकोत्सव बड़े हर्षोल्लास से मनाया गया।

वार्षिक उत्सव का मतलब क्या होता है?

जनवरी या फरवरी के माह में विद्यालयों एवं कॉलेजों में वार्षिक उत्सव का आयोजन किया जाता है। इस समय सत्र समाप्ति की ओर होता है और परीक्षा के आयोजन से पहले वार्षिक उत्सव विद्यार्थियों में चरम उत्साह का संचार करता है। वार्षिक उत्सव पर एक रिपोर्ट तैयार की जाती है जिसे वार्षिकोत्सव का प्रतिवेदन कहा जाता है।