मकर राशि वालों को किसकी पूजा करनी चाहिए - makar raashi vaalon ko kisakee pooja karanee chaahie

जानिए, आपकी राशि के अनुसार कौन हैं आपके इष्ट देव?

मकर राशि वालों को किसकी पूजा करनी चाहिए - makar raashi vaalon ko kisakee pooja karanee chaahie

यूं तो सनातन धर्म के संबंध रखने वाला प्रत्येक व्यक्ति अपनी इच्छा और श्रद्धा के अनुसार किसी भी देवी-देवता की आराधना कर सकता है। इसके बावजूद ईष्ट देव की पूजा का विशेष महत्व होता है।

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यूं तो सनातन धर्म के संबंध रखने वाला प्रत्येक व्यक्ति अपनी इच्छा और श्रद्धा के अनुसार किसी भी देवी-देवता की आराधना कर सकता है। इसके बावजूद ईष्ट देव की पूजा का विशेष महत्व होता है। लेकिन बहुत से लोग होते हैं जिन्हें अपने ईष्ट देव नहीं पता हैं। तो इस वीडियो में हम आपको राशि के मुताबिक बताएंगे कि आपके ईष्टदेव कौन हैं। 

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इष्ट देव की पूजा करने से व्यक्ति को अच्छे और शुभ फल की प्राप्ति होती है।

राशि अनुसार जानें अपने इष्ट देव को-
मेष और वृश्चिक- मेष और वृश्चिक राशि का स्वामी ग्रह मंगल है इसलिए इन दोनों राशि वालों के इष्टदेव हनुमानजी और राम जी हैं।

वृषभ और तुला- वृषभ और तुला राशि का स्वामी शुक्र ग्रह है और इसलिए इनकी इष्ट देवी मां दुर्गा हैं, उन्हें इनकी आराधना करनी चाहिए।

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मिथुन और कन्या- मिथुन और कन्या राशि का स्वामी ग्रह बुध है और इसलिए उनके इष्ट देव गणेश जी और विष्णु जी हैं और उन्हें इनकी पूजा करनी चाहिए।

कर्क- कर्क राशि का स्वामी ग्रह चंद्रमा है और इन लोगों के इष्ट देव शिव जी हैं। इनकी पूजा से विशेष फल मिलता है।

सिंह- सिंह राशि वालों का स्वामी ग्रह सूर्य है और उनके इष्ट देव हनुमान जी और मां गायत्री हैं।

धनु और मीन- धनु और मीन राशि वालों के स्वामी ग्रह गुरु हैं और उनके इष्ट देव विष्णु जी और लक्ष्मी जी हैं।

मकर और कुंभ- मकर और कुंभ राशि के स्वामी शनि हैं इसलिए उनके इष्ट देव हनुमान जी और शिव जी हैं। उनकी पूजा से विशेष फल की प्राप्ति होती है।

जानकारी के लिए बता दें कि ईष्टदेव की पहचान कुंडली के पंचम भाव से की जाती है।।।  ज्योतिष शास्त्र की मानें तो आपके जन्म की तारीख, आपके नाम के पहले अक्षर की राशि या जन्म कुंडली की राशि के आधार पर इष्टदेव की पहचान की जा सकती है। अरुण संहिता जिसे लाल किताब के नाम से भी जाना जाता है, के अनुसार व्यक्ति के पूर्व जन्म में किए गए कर्म के आधार पर इष्ट देवता का निर्धारण होता है और इसके लिए जन्म कुंडली देखी जाती है। कुंडली का पंचम भाव इष्ट का भाव माना जाता है। इस भाव में जो राशि होती है उसके ग्रह के देवता ही हमारे इष्ट देव कहलाते हैं। इष्ट देव की पूजा करने से ये फायदा होता कि कुंडली में चाहे कितने भी ग्रह दोष क्यों न हों, अगर इष्ट देव प्रसन्न हैं तो यह सभी दोष व्यक्ति को अधिक परेशान नहीं करते।

ज्योतिष डेस्क, अमर उजाला Published by: रुस्तम राणा Updated Fri, 13 Mar 2020 03:06 PM IST

मकर राशि का स्वामी शनि होता है। राशिचक्र की यह दसवीं राशि है। इस राशि वाले जातक गहरी सोच वाले होते हैं। धन एवं व्यापार के मामले इस राशि के जातक बहुत सावधान रहते हैं। ये एक समय में कई कार्य करने में सक्षम होते हैं। मनोरंजन करने वाले होते हैं। इस राशि की महिलाएँ अपने घर को व्यवस्थित रखती हैं। कभी-कभार इस राशि के जातक अपने स्वार्थ को आगे रखते हैं और इन्हें खुद पर भरोसा भी नहीं होता है। ये बाचाल प्रवृति के होते हैं और अपनी जिम्मेदारियों को भलिभांति समझते हैं। इसके अलावा इस राशि वाले दृढ़ निश्चयी एवं महत्वाकांक्षी होते हैं। संदेह करना इनका नकारात्मक पक्ष है। ज्योतिष शास्त्र में मकर राशि वालों के लिए उपाय बताए गए हैं, ये उपाय करने से जातकों को अच्छे फल प्राप्त होते हैं। 

धन समृद्धि पाने के लिए करें ये काम
धन-समृद्धि और वैभव प्राप्त करने के लिए मकर राशि के जातकों को एक आसान उपाय करने की आवश्यकता है। इस उपाय के तहत अपने गल्ले या तिजोरी में नीले रंग का वस्त्र विछाएं। वहीं पर्याप्त धनार्जन के बाद भी आप धन बचत करने में असफल हो रहे हैं तो आपको केले के दो पौधे लगाने चाहिए और उसका पालन-पोषण करना चाहिए। साथ ही आपको नित्य उसके समक्ष दीपक भी जलाना चाहिए।

इस उपाय से शादी-ब्याह में आ रही परेशानी होगी दूर
यदि आपके दांपत्य जीवन में किसी प्रकार की परेशानी चल रही है या विवाह योग्य होने पर भी शादी नहीं रो रही है तो समाधान के लिए सोमवार के दिन शिव मंदिर में शिवलिंग पर कच्चे दूध में शहद मिलाकर शिवजी का अभिषेक करें और अपने शयन कक्ष में मोर पंख लगाएं। इस उपाय को करने से आपकी समस्याओं का समाधान होगा।

मन की एकाग्रता के लिए करें यह उपाय
यदि आपका मन बेचैन है और एक जगह नहीं लग रहा है तो इसके लिए आपको गुरुवार के दिन किसी मंदिर में केले का पौधा लगाना चाहिए। इसके साथ ही उस पौधे का संरक्षण और संवर्धन भी करना चाहिए। गुरुवार के दिन उस पौधे के समीप आटें से बने गौघृत का दीपक जलाएं। 

शिक्षा के क्षेत्र में सफलता पाने के लिए करें यह काम
मकर राशि वालों को शिक्षा के क्षेत्र में सफलता पाने के लिए शनिवार को छाया पात्र का दान करना चाहिए। इसके लिए किसी मिट्टी अथवा लोहे के पात्र में सरसों का तेल भरकर अपनी छाया देखें और उसे दान कर दें।

मकर राशि वालों के इष्ट देवता कौन है?

इष्ट देव : मकर राशि के जातको की इष्ट देव माता लक्ष्मी होती है

मकर राशि वालों को कौन सा व्रत करना चाहिए?

शनि ग्रह मकर और कुंभ राशि का स्वामी होने के नाते शनिवार का व्रत करना इन दोनों राशियों के जातकों के लिए लाभदायक होता है।

मकर राशि वाले कौन से देवता की पूजा करें?

*भगवान भैरव की उपासना करें

मकर राशि में क्या दोष है?

यदि आप मकर राशि के जातक हैं तो आपके लिए यहाँ लाल किताब अनुसार सामान्य सलाह दी जा रही है। अशुभ की निशानी : शनि के अशुभ प्रभाव के कारण मकान या मकान का हिस्सा गिर जाता है या क्षति ग्रस्त हो जाता है, नहीं तो कर्ज या लड़ाई-झगड़े के कारण मकान बिक जाता है। अंगों के बाल तेजी से झड़ जाते हैं। अचानक आग लग सकती है।