अभी न होगा मेरा अंत कवि ने ऐसा क्यों कहा है? - abhee na hoga mera ant kavi ne aisa kyon kaha hai?

Question 1.
‘ध्वनि’ कविता के रचयिता निम्नलिखित में से कौन हैं?
(a) रामधारी सिंह ‘दिनकर’
(b) सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’
(c) रामचंद्र तिवारी
(d) प्रभुनारायण

Answer

Answer: (b) सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’


Question 2.
इस काव्यांश की कविता का नाम है-
(a) वसंत
(b) ध्वनि
(c) सवेरा
(d) मनोहर

Answer

Answer: (b) ध्वनि


Question 3.
अभी किसका अंत न होगा?
(a) वसंत का
(b) कवि के जीवन का
(c) प्रभाव का
(d) कलियों का

Answer

Answer: (b) कवि के जीवन का


Question 4.
कवि पुष्य-पुष्प से क्या खींच लेना चाहता है?
(a) मिठास
(b) पराग
(c) खुशबू
(d) तंद्रालस लालसा

Answer

Answer: (d) तंद्रालस लालसा


Question 5.
‘कलियाँ’ किसका प्रतीक हैं?
(a) नवयुवकों का
(b) फूलों का
(c) वसंत का
(d) प्रातः काल का

Answer

Answer: (a) नवयुवकों का


Question 6.
‘कलियाँ कोमल’ में किस अलंकार का प्रयोग हुआ है?
(a) अनुप्रास
(b) पुनरुक्ति का
(c) यमक
(d) श्लेष

Answer

Answer: (a) अनुप्रास


Question 7.
कवि पुष्यों को सहर्ष किससे सींचना चाहता है?
(a) नवजीवन के अमृत से
(b) नवजीवन के जल से
(c) नवजीवन की वर्षा से
(d) इनमें से कोई नहीं

Answer

Answer: (a) नवजीवन के अमृत से


Question 8.
कवि खिले फूलों को कहाँ का द्वार दिखाना चाहता है?
(a) उपवन का
(b) विद्यालय का
(c) अनंत का
(d) उद्यान का

Answer

Answer: (c) अनंत का


(1)

अभी न होगा मेरा अंत
अभी-अभी ही तो आया है
मेरे वन में मृदुल वसंत-
अभी न होगा मेरा अंत।
हरे-हरे ये पात,
डालियाँ, कलियाँ, कोमल गात।
मैं ही अपना स्वप्न-मृदुल-कर
फेरूँगा निद्रित कलियों पर
जगा एक प्रत्यूष मनोहर।

Question 1.
कवि और कविता का नाम लिखिए।

Answer

Answer:
कवि का नाम-सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’
कविता का नाम-‘ध्वनि’।


Question 2.
‘अभी न होगा मेरा अंत’ कवि ने ऐसा क्यों कहा?

Answer

Answer: ‘अभी न होगा मेरा अंत’ कवि ने ऐसा इसलिए कहा है, क्योंकि वे बताना चाहते हैं कि अभी अंत नहीं होने वाला है। अभी अभी तो वसंत का आगमन हुआ है जिससे उसका जीवन खुशियों से भर गया है। वह उमंग से भरा हुआ है।


Question 3.
‘वन में मृदुल वसंत’ पंक्ति से आशय क्या है?

Answer

Answer: वन में मृदुल वसंत का अभिप्राय है- वन रूपी जीवन में वसंत का आगमन होना है।


Question 4.
कवि पर वसंत का क्या प्रभाव दिखाई देता है?

Answer

Answer: वसंत के आगमन पर पेड़ों पर नए-नए, हरे-हरे पत्ते निकल आते हैं। नई-नई डालियाँ निकल आती हैं जिन पर कोमल कलियाँ निकल आती हैं जिससे कवि का जीवन खुशियों से भर गया है। कवि उमंग से भरा हुआ है।


Question 5.
वसंत का क्या प्रभाव दिखाई देता है ?

Answer

Answer: वन कवि के जीवन रूपी उपवन का और निद्रित कलियाँ-आलस्य में डूबे हुए नवयुवकों का प्रतीक है।


(2)

पुष्प-पुष्प से तंद्रालस लालसा खींच लूँगा मैं,
अपने नव जीवन का अमृत सहर्ष सींच दूंगा मैं,
द्वार दिखा दूंगा फिर उनको।
हैं मेरे वे जहाँ अनंत-
अभी न होगा मेरा अंत।

Question 1.
कवि एवं कविता का नाम लिखिए।

Answer

Answer:
कवि का नाम- सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’
कविता का नाम-ध्वनि।


Question 2.
कवि पुष्पों को किस रूप में देखता है और इनमें क्या परिवर्तन चाहता है?

Answer

Answer: कवि को पुष्प आलसी तथा नींद से बोझिल दिखाए पड़ रहे हैं। अपने स्पर्श से पुष्पों की नींद भरी आँखों से आलस्य छीन लेना चाहता है, यानी कवि उनका आलस्य दूर कर उन्हें चुस्त और जागरूक बनाना चाहता है।


Question 3.
कवि पुष्पों को अनंत का द्वार दिखाना चाहता हैं, क्यों?

Answer

Answer: कवि पुष्पों को अनंत का द्वार इसलिए दिखाना चाहता है क्योंकि फूल खिलकर अनंत काल तक अपनी महक एवं सौंदर्य बिखेरते रहें। जीवन में आशा एवं उत्साह से भरपूर रहें। उनका जीवन फूलों के समान महक उठे।


Question 4.
कवि की चाहत क्या है?

Answer

Answer: कवि की चाहत है कि वह पुष्प के जीवन के आलस्य, निराशा व प्रमाद को दूर करना चाहता है। वह अपने अनंत से सप्राण भेंट करना चाहता है। वह अपने जीवन की आभा, सुषमा व कर्तव्य भावना को यशस्वी बनाकर चारों ओर फैलाना चाहता है।


कवि ने कविता में अभी मेरा अंत न होगा ऐसा क्यों कहा है?

'अभी न होगा मेरा अंत' कवि ने ऐसा क्यों कहा? Answer: 'अभी न होगा मेरा अंत' कवि ने ऐसा इसलिए कहा है, क्योंकि वे बताना चाहते हैं कि अभी अंत नहीं होने वाला है। अभी अभी तो वसंत का आगमन हुआ है जिससे उसका जीवन खुशियों से भर गया है। वह उमंग से भरा हुआ है।

अभी न होगा मेरा अंत इस पंक्ति में कवि का कौन सा मनोभाव प्रकट हुआ है?

प्रश्न (1) : 'अभी न होगा मेरा अंत' पंक्ति में कवि का कौन-सा मनोभाव प्रकट हुआ है? उत्तर : 'अभी न होगा मेरा अंत' पंक्ति में कवि का आत्म-विश्वास तथा जीवन के प्रति द्वारा आशावादी होने का भाव प्रकट हुआ है।

अभी न होगा मेरा अंत का अर्थ क्या है?

ध्वनि कविता का भावार्थ (suryakant tripathi nirala poem dhwani in hindi): ध्वनि कविता की इन पंक्तियों में कवि निराला जी कहते हैं कि मैं सोये हुए फूलों यानि निराश लोगों को जीवन जीने की कला सिखा दूँगा। फिर, वो कभी उदास नहीं होंगे और अपना जीवन सुख से व्यतीत कर पाएंगे।

कवि को ऐसा विश्वास क्यों है कि उसका अंत अभी नहीं होगा ?`?

कवि को ऐसा विश्वास क्यों है कि उसका अंत अभी नहीं होगा? उत्तर:- कवि को ऐसा विश्वास इसलिए है क्योंकि अभी उसके मन में नया जोश व उमंग है। अभी उसे काफ़ी नवीन कार्य करने है। वह युवा पीढ़ी को आलस्य की दशा से उबारना चाहते हैं।