राष्ट्रीय ध्वज फहराने के नियम क्या है? - raashtreey dhvaj phaharaane ke niyam kya hai?

Indian Flag Code, Rules and Guidelines: क्या आपको पता है तिरंगा फहराने के नियम, पहले जान लें, वरना हो जाएगी जेल

स्वतंत्रता दिवस को कैसे बनाएं खास

Indian Flag Code, Rules and Guidelines: 15 अगस्त 2022 यानी आज भारत अपना 76वां स्वतंत्रता दिवस समारोह मना रहा है. इस वर्ष स्वतंत्रता दिवस का त्योहार कुछ खास है. हर घर तिरंगा अभियान के तहत देशभर के लगभग सभी घरों पर तिरंगे को स्थापित किया गया है. पूरे देश में स्वतंत्रता दिवस समारोह को हर्षोल्लास के साथ मनाया जा रहा है. लेकिन क्या आपको पता है झंडा फहराने के नियम (Flag Code of India) या फिर अगर झंडा खराब हो जाए, मैला हो जाए या कट फट जाए तो उसके निस्तारण यानी उसे नष्ट करने के नियम आपको पता है. अगर नहीं तो आपको अपनी लेख में हम झंडा फहराने (Indian Flag Code) और उसके निस्तारण के नियम के बारे में बताने वाले हैं.Also Read - पश्चिम बंगाल के इस जिले में 15 अगस्त नहीं, आज मनाया गया स्वतंत्रता दिवस, जानें वजह

तिरंगा झंडा फहराने के नियम

1- तिरंगा अगर आप फहरा रहे हैं तो ध्यान दें कि खुले इलाके में केवल 24 घंटे तक ही झंडा फहराया जा जा सकता है. साथ ही इसे फहराने के समय पूरे सम्मान के साथ झंडे को फहराना पड़ता है. यह ध्यान रखने योग्य बात है कि झंडा भीग न हो. नही किसी प्रकार की उसे क्षति हुई है. केसरियां रंग हमेशा ऊपर, सफेद रंग बीच में और हरा रंग हमेशा सबसे नीचे की पट्टी में होनी चाहिए. झंड़ा कटा फटा नहीं होना चाहिए. तभी आप इसे फहरा सकते हैं. Also Read - Deshhit: ‘वीर सावरकर’ के पोस्टर लगाने पर कर्नाटक में हुआ विवाद, BJP नेता बोले जिसको नहीं पसंद वो पाकिस्तान जाए | Watch Video

2- पहले केवल हाथ से बने कपास, पालिएस्टर, ऊन, खादी इत्यादि से बने झंडे को बनाने की अनुमति थे. लेकिन अब मशीन से भी बने झंडे को फहराने की अनुमति मिल चुकी है. पहले केवल दिन के वक्त ही झंडा फहराने की अनुमति थी लेकिन सरकार ने नियम को बदल दिया है. इसे दिन या रात 24 घंटे फहराया जा सकता है. झंडे का आकार आयताकार होना चाहिए. इसकी लंबाई चौड़ाई का अनुपात 32 होना चाहिए. Also Read - Baba ka Bulldozer: सात समंदर पार भी बुलडोजर बाबा की धूम, आजादी के जश्न में शामिल हुआ बुलडोजर | देखें VIDEO

3- अशोक चक्र में 24 तीलियां होनी चाहिए और यह सफेद पट्टी के बीच में होना चाहिए. कटेफटे, गंदे या मैले तिरंगे को कभी नहीं फहराया जा सकता है. तिरंगे का इस्तेमाल कपड़े के रूप में या यूनिफॉर्म के रूप में नहीं किया जा सकता है.

4- किसी भी स्थिति में तिरंगा जमीन को नहीं छूना चाहिए. राष्ट्रीय ध्वज से ऊंचा कोई और ध्वज नहीं लगाया जा सकता है.

5- झंडे के किसी भी भाग को जलाने, नुकसान पहुंचाने, मौखिक या शाब्दिक तौर पर इसका अपमान करने पर तीन साल की जेल के साथ जुर्माना या फिर दोनों हो सकते हैं. झंडे पर कुछ लिखा नहीं जा सकता है. अगर झंडा फट जाए या फिर मैला हो जाए तो उसे एकांत में मर्यादित तरीके से नष्ट किया जाता है. तिरंगे को अपने पास पूरे सम्मान के साथ तह लगाकर रखना है. फेंकना और क्षति पहुंचाने की मनाही है. साथ ही अगर झंडा गंदा हो जाए या फट जाए तो उसका निस्तारण भी सावधानी से करना है.

तिरंगा निस्तारण के नियम

1- नियमों के मुताबिक राष्ट्रीय ध्वज को दो तरीकों से निस्तारित किया जा सकता है. पहला एकांत में जलाना दूसरा तिरंगे को दफन करना. बेहद गंदे या किसी कारणवश फट गए राष्ट्रीय ध्वज को दफन करने के लिए लकड़ी का बॉक्स लेना होगा और तिरंगे को सम्मान पूर्वक तह लगाकर दफन करना होगा. इसके बाद उसके सामने दो मिनट तक मौन खड़े रहना होगा.

2- दूसरा तरीका इसे जलाने का है. इसके लिए साफ स्थान पर लकड़ी रखकर उसमें आग लगानी होगा. अग्नि के मध्य में तिरंगे को सम्मान पूर्वक तह लगाकर रखना होगा. किनारे से नहीं. यह नियम इसलिए बनाए गए है क्योंकि राष्ट्रीय ध्वज हमारा गर्व है.

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Published Date: August 15, 2022 7:17 AM IST

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Updated Date: August 15, 2022 7:17 AM IST

राष्ट्रीय ध्वज फहराने के क्या नियम है?

हालांकि, राष्ट्रीय ध्वज फहराने वाले व्यक्ति के लिए ये सुनिश्चित करना आवश्यक है कि झंडा उल्टा नहीं फहराया जाए यानि ध्वज का केसरिया भाग ऊपर रहना चाहिए. साथ ही आप जो झंडा फहरा रहे हैं वह क्षतिग्रस्त तिरंगे को प्रदर्शित नहीं करना चाहिए और न ही यह जमीन या पानी को छूना चाहिए.

तिरंगा फहराने का सही समय क्या है?

इसके बाद हर घर तिरंगा अभियान के तहत सरकार ने 20 जुलाई 2022 को फिर इस कानून में संशोधन किया। सरकार ने इस बार तिरंगे को किसी भी वक्त फहराने की अनुमति दे दी। अब इसे दिन रात 24 घंटे फहराया जा सकता है। इससे पहले तिरंगे को केवल सूर्योदय से सूर्यास्त तक फहराने की अनुमति थी।

झंडा कब उतारा जाता है?

दरअसल, गणतंत्र दिवस के दिन देश के राष्ट्रपति (President) ध्वजारोहण करते हैं. इस दिन भारत का संविधान (Constitution) लागू हुआ था. 26 जनवरी यानि गणतंत्र दिवस के मौके पर झंडा (Flag) ऊपर ही बंधा रहता है और इसे खोलकर फहराया जाता है. जिसे ध्वजारोहरण कहते हैं.

भारतीय ध्वज का अपमान के लिए क्या सजा है?

तिरंगे का अपमान करने पर क्या है सजा? कोई व्यक्ति राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करते, इसे जलाते, दूषित करते, कुचलते या नियम विरुद्ध ध्वजारोहण करते पाया जाता है तो उसे तीन साल की जेल या जुर्माना देने का दंड मिल सकता है। व्यक्ति को जेल और जुर्माना दोनों से ही दंडित किया जा सकता है।