Show पांडव वंश के आखिरी राजा क्यों मिटाना चाहते थे सांपों का अस्तित्वमहाभारत एक महाकाव्य है। जिसमें कथाओं का विशाल संग्रह है। यह एक एेसा ग्रंथ हैं जिस से मनुष्य को उसके हर प्रश्न का उत्तर मिल सकता है। महाभारत की कथाएं पूरी दुनिया में प्रचलित है, न केवल हिंदुस्तानी बल्कि विदेशी लोग भी इससे बेहद प्रभावित हैं। महाभारत एक महाकाव्य है। जिसमें कथाओं का विशाल संग्रह है। यह एक एेसा ग्रंथ हैं जिस से मनुष्य को उसके हर प्रश्न का उत्तर मिल सकता है। महाभारत की कथाएं पूरी दुनिया में प्रचलित है, न केवल हिंदुस्तानी बल्कि विदेशी लोग भी इससे बेहद प्रभावित हैं। इससे इसके इतिहास का बाखूबी पता लगता है। इसमें बताई गई कहानियों के अनेक चरित्र आज भी पूरी शिद्दत से संपूर्ण जनमानस पर अपनी छाप छोड़ते नजर आते हैं। उन्हीं पात्रों में से एक पांडव कुल के अंतिम सम्राट जनमेजय से जुडीं एक कथा है। जिन्हों ने एक बार पृथ्वी से सांपों का अस्तित्व मिटाने के लिए सर्प मेध यज्ञ किया। जिसमें पृथ्वी पर उपस्थित लगभग सभी सांप समाप्त हो गए। हालंकि अंत में अस्तिका मुनि के हस्तक्षेप के कारण सांपों का सम्पूर्ण विनाश होने से रह गया था, अन्यथा आज पृथ्वी पर सांपों का अस्तित्व नहीं होता। आइए जानतें हैं कौन थे जनमेजय और क्यों उन्होंने सांपों के सम्पूर्ण विनाश की प्रतिज्ञा ली थी- राजा परीक्षित को ऋषि ने दिया शाप और ये भी पढ़े
ऋषि उस वक्त ब्रह्म ध्यान में आसन लगा कर बैठे हुए थे। उन्होंने राजा की ओर ध्यान नहीं दिया। इस पर परीक्षित को बहुत तेज गुस्सा आया और उन्होंने ऋषि के गले में एक मरा हुआ सांप डाल दिया। जब ऋषि का ध्यान हटा तो उन्हें भी बहुत गुस्सा आया और उन्होंने राजा परीक्षित को शाप दे दिया कि तुम्हारी मौत सांप के काटने से ही होगी। राजा परीक्षित ने इस शाप से मुक्ति के लिए तमाम कोशिशे की लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। कैसे हुई राजा परीक्षित की मौत राजा जनमेजय का सर्प मेध यज्ञ कैसे खत्म हुआ सर्प मेध
यज्ञ वेबदुनिया महाभारत : क्या आज भी जिंदा है अर्जुन के वंशज?
महाभारत में कौरव और पांडवों के बीच लड़ाई हुई थी, लेकिन कौरव और पांडव दोनों ही कुरुवंश से नहीं थे। वैसे देखा जाए तो कुरुवंश का अंतिम व्यक्ति भीष्म पितामह ही थे। लेकिन पुराणों के अनुसार उस काल का अंतिम शासक निचक्षु था। पुराणों के अनुसार हस्तिनापुर नरेश निचक्षु ने, जो परीक्षित का वंशज (युधिष्ठिर से 7वीं पीढ़ी में) था, हस्तिनापुर के गंगा द्वारा बहा दिए जाने पर अपनी राजधानी वत्स देश की कौशांबी नगरी को बनाया। कुरु वंश के पिता कौन थे?कुरु
महाभारत का पहला राजा कौन था?भरत प्राचीन भारत के एक चक्रवर्ती सम्राट थे जो कि राजा दुष्यन्त तथा रानी शकुंतला के पुत्र थे अतः एक चन्द्रवंशी राजा थे।
अंतिम कुरु कौन था?कुरुवंश का अंतिम राजा निचक्षु था। पुराणों के अनुसार हस्तिनापुर नरेश निचक्षु ने, जो परीक्षित का वंशज (युधिष्ठिर से 7वीं पीढ़ी में) था, हस्तिनापुर के गंगा द्वारा बहा दिए जाने पर अपनी राजधानी वत्स देश की कौशांबी नगरी को बनाया।
पांडव का आखिरी वंशज कौन था?राजा परीक्षित की मौत के बाद राजा जनमेजय हस्तिनापुर की गद्दी पर विराजे, जनमेजय पांडव वंश के आखिरी राजा थे।
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