112 नंबर कहां का है - 112 nambar kahaan ka hai

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सीवानएक महीने पहले

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112 नंबर कहां का है - 112 nambar kahaan ka hai

हरी झंडी दिखाकर रवाना करते डीएम व एसपी।

महानगरों की तर्ज पर अब सीवान में भी आपातकालीन अनुक्रिया एवं सहयोग प्रणाली टीम काम करेगी। किसी भी पीडि़त द्वारा इसके लिए 112 नंबर पर डायल करते ही पुलिस उनकी मदद के लिए पहुंचेगी। इस नंबर पर डायल करने के बाद अधिकतम 20 मिनट के अंदर पुलिस मदद के लिए पीडि़त के पास पहुंच जाएगी। यह सुविधा सीवान में पहले चरण में सीवान नगर और महाराजगंज और मैरवा थाना में शुरू की गई हैं। इसके लिए राज्य पुलिस मुख्यालय द्वारा आठ वाहन सीवान पुलिस को उपलब्ध करा दिया गया है।

डायल 112 नंबर के आपात अनुक्रिया वाहनों को हरी झंडी दिखाकर समाहरणालय से जिलाधिकारी अमित कुमार पांडेय,पुलिस अधीक्षक शैलेश कुमार सिन्हा, सदर एसडीपीओ जितेंद्र पांडेय सहित अन्य अधिकारियों के द्वारा रवाना किया गया। इस संदर्भ में पुलिस अधीक्षक ने बताया कि सदर और महाराज गंज अनुमंडल क्षेत्र के चिन्हित जगहों पर डायल 112 नंबर की गाड़ी तैनात रहेगी । पटना और सीवान कंट्रोल रूम से फोन आने के बाद लोकेशन पर तैनात डायल 112 नंबर की गाड़ी पर सवार पुलिसकर्मी लोकेशन पर पहुंचकर पीड़ित की मदद करेगा। उन्होंने बताया कि फिलहाल ट्रायल के तौर पर सीवान शहर में पांच और महाराजगंज में दो और मैरवा में एक यह सेवा शुरू की गई है। जल्द ही यह सेवा जिले के अन्य ग्रामीण क्षेत्रों में भी शुरू की जाएगी । चिन्हित जगह पर डायल 112 नंबर की गाड़ी को तैनात किया गया है।

गाड़ियां में ये सुविधा भी होगी
इन विशेष गाड़ियों में वायरलेस कॉम्यूनिकेशन के अलावा जीपीएस, मोबाइल डाटा टर्मिनल समेत अन्य आधुनिक उपकरण लगाये गये हैं। इनकी मदद से गाड़ियों का रीयल-टाइम लोकेशन के अलावा कॉल करने वाले का नंबर और घटना का लोकेशन समेत अन्य सभी जानकारी डिस्प्ले होगी।

पहले होती थी परेशानी
पहले लोग पुलिस की मदद के लिए 100 नंबर या संबंधित थानाध्यक्ष या अन्य पुलिस पदाधिकारी को फोन करते थे। 100 नंबर डायल करने पर काल पटना जाता था। फिर वहां से संबंधित थाना को सूचना दी जाती थी। लोकेशन लेने में भी परेशानी होती थी। कई बार किसी दूसरे काम में व्यस्त होने के कारण संबंधित थाने की पुलिस समय से घटनास्थल पर नहीं पहुंच पाती थी। लेकिन 112 नंबर क्रियाशील हो जाने पर इन सारे झंझटों से मुक्ति मिल जाएगी।

अपराध पर लगेगी नकेल
डायल 112 के नंबर जगह-जगह चौक चौराहों पर तैनात रहने की वजह से राहगीरों को किसी भी तरह की परेशानियों से नहीं जूझना पड़ेगा । अक्सर सड़क पर चल रहे लोगों को बाइक सवार झपट्टा मार गिरोह के सदस्यों के द्वारा मोबाइल गले से सोने की चेन समेत अन्य समान पर भी झपट्टा मार कर भागने का काम किया जाता था। लेकिन पुलिसकर्मी की तैनाती रहने की वजह से अपराध की घटना कम होगी । बताया जाता है कि इसके अलावा अन्य संदिग्ध लोग जो सड़क पर बेखौफ होकर आवाजाही करते हैं । उन पर भी विशेष ध्यान रखी जाएगी।ऐसे में पब्लिक को भी किसी भी सूचना पहुंचाने के लिए संबंधित थानों के भरोसे नहीं रहना होगा।

जीपीएस से लैस होगा सिस्टम
डायल 112 की व्यवस्था पूरी तरह से हाई टेक और जीपीएस सिस्टम से लैस होगी। किसी विशेष परिस्थिति में यदि फोनकर्ता अपना लोकेशन नहीं भी बता पाता है तो सिस्टम के द्वारा तुरंत उसका लोकेशन मिल जाएगा। लोकेशन मिलते ही कंट्रोल रूम एक्टिव हो जाएगा और निकटवर्ती थाना को घटना की सूचना देते हुए फोनकर्ता तक तत्काल मदद पहुंचाई जाएगी। साथ ही इसके अलावा इस वाहन के जीपीएस से जुड़े जिले के गश्ती वाहन को तत्काल इस लोकेशन की सूचना फारवर्ड हो जाएगी कि किस क्षेत्र के किस पीडि़त को कहां पर मदद की जरूरत है। इस सेवा के शुरू होने से कई तरह की घटनाओं पर लगाम आसानी से लग पाएगा।

जिले में एक्टिव हो गया है
"112 नंबर जिले में एक्टिव हो गया है। इस दिशा में काम शुरू कर दिया गया है। सरकार की ओर से आठ गाड़ियां भी आवंटित हो गई है। इस नंबर पर फोन से सूचना देने पर पुलिस मदद पहुंचाएगी। थाने में काम का बोझ भी हल्का होगा।"
-शैलेश कुमार सिन्हा पुलिस अधीक्षक सीवान

Author: Kamlesh BhattPublish Date: Mon, 12 Jul 2021 10:20 AM (IST)Updated Date: Mon, 12 Jul 2021 02:27 PM (IST)

112 नंबर कहां का है - 112 nambar kahaan ka hai

Haryana Emergency Number हरियाणा में आज से पुलिस फायर और एंबुलेंस सेवा के लिए इमजेंसी नंबर 112 होगा। इमरजेंसी रिस्पांस सेंटर के लिए पंचकूला के सेक्टर-1 में पहले से ही एक आधुनिक भवन का निर्माण किया है जो पूरी कंट्रोल रूम होगा।

जेएनएन चंडीगढ़/पंचकूला। Haryana Emergency Number: हरियाणा के नागरिकों को अब हर रोज 24 घंटे पुलिस सहायता उपलब्ध हो सकेगी। सहायता के लिए जरूरतमंद लोगों को पुलिस न तो टरका सकेगी और न ही कोई बहाना बना सकेगी। हरियाणा सरकार राज्य में पुलिस, फायर और एंबुलेंस सेवा से जुड़ी आपातकालीन सेवाओं के लिए एक संयुक्त नंबर 112 की शुरु कर दिया है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने आज पंचकूला से इस नंबर की शुरुआत की। आज ही 601 इमरजेंसी रिस्पांस व्हीकल (ईआरवी) गाडिय़ों की विभिन्न जिलों के लिए रवानगी होगी। 

हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज पहले ही इस नए सिस्टम की प्रजेंटेशन देख चुके थे। एडीजीपी एएस चावला ने नई दिल्ली स्थित हरियाणा भवन में पिछले दिनों अनिल विज को इस पूरी परियोजना की प्रगति के बारे में विस्तार से जानकारी दी थी। पुलिस महानिदेशक मनोज यादव की देखरेख में मुख्यमंत्री मनोहर लाल आज मोबाइल डेटा टर्मिनल और अन्य आपातकालीन संबंधित उपकरणों से लैस 601 गाड़ियों को हरी झंडी दिखाएंगे। कार्यक्रम में गृह मंत्री अनिल विज व हरियाणा विधानसभा के स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता भी मौजूद हैं।

इस परियोजना को हरियाणा पुलिस की सेवाओं के लिहाज से काफी अहम माना जा रहा है। परियोजना के शुरू होने से पुलिस को इमरजेंसी के समय लोगों की अधिक त्वरित और प्रभावी ढंग से मदद करने में सहायता मिलेगी। नागरिक किसी भी संकट की स्थिति में नंबर 112 डायल कर इमरजेंसी सहायता प्राप्त कर सकते हैं। इमरजेंसी रिस्पांस एंड सर्पोट सिस्टम (ईआरएसएस) के तहत आपातकालीन नंबर शुरू किया जा रहा है।

नई प्रणाली लोगों को कई नंबर याद रखने की आवश्यकता को समाप्त करेगी। ईआरएसएस एक नंबर के माध्यम से इमरजेंसी सेवाएं प्रदान करने के लिए पुलिस (100), फायर (101) और एंबुलेंस (108) हेल्पलाइन नंबरों का एकीकरण है। इस परियोजना को केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश पर लागू किया गया है। गृह मंत्री अनिल विज ने बताया कि परियोजना के तहत पंचकूला में एक अत्याधुनिक स्टेट इमरजेंसी रिस्पांस सेंटर स्थापित किया गया है जिसे जिला स्तर पर पुलिस कंट्रोल रूम के साथ-साथ इमरजेंसी रिस्पांस व्हीकल्स से डिजिटल रूप से जोड़ा गया है।

112 नंबर मिलाते ही प्रदेश वासियों को पुलिस, एंबुलेंस तथा फायर ब्रिगेड की इमरजेंसी सेवाएं तुरंत मिल सकेगी। सी-डेक को करीब 152 करोड़ रुपये के भुगतान के अलावा करीब 90 करोड़ रुपये की लागत से 630 नए इमरजेंसी रिस्पांस व्हीकल्स की खरीद भी की गई है। यह वाहन विभिन्न आपातकालीन उपकरणों से लैस होंगे। प्रदेश सरकार ने सी-डेक (सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस कंप्यूटिंग) के माध्यम से इमरजेंसी रिस्पोंस एंड सपोर्ट सिस्टम (ईआरएसएस) प्रोजेक्ट की स्थापना की है। पंचकूला में इसका राज्य स्तरीय कंट्रोल रूम बनाया गया है। देश में यह प्रोजेक्ट 20 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में काम कर रहा है। चार राज्यों में लागू किया जा रहा है। ईआरएसएस पुलिस की सबसे महत्वाकांक्षी और बड़ा प्रोजेक्ट है जो प्रदेश के लोगों को न केवल पुलिस आपातकालीन सेवाओं, बल्कि अन्य आपातकालीन सेवाएं फायर-ब्रिगेड और एंबुलेंस तक भी पहुंचाएगा।

प्रोजेक्ट पूरी तरह से लागू हो जाने के बाद हरियाणा के प्रत्येक नागरिक को शहरी क्षेत्रों में पुलिस नियंत्रण कक्ष में कॉल करने पर 15 मिनट के भीतर व ग्रामीण क्षेत्रों में 30 मिनट के भीतर आपातकालीन पुलिस सेवाएं उपलब्ध होंगी। इमरजेंसी रिस्पांस सेंटर के लिए पंचकूला के सेक्टर-1 में पहले से ही एक आधुनिक भवन का निर्माण किया है, जो पूरी कंट्रोल रूम होगा। हरियाणा के गृहमंत्री अनिल विज ने बताया कि प्रदेश वासियों को आपातकालीन सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए एक ही नंबर डायल करना पड़ेगा। इस योजना के तहत प्रदेश के सभी जिलों को आधुनिक पुलिस वाहन मुहैया करवाए गए हैं।

हरियाणा में डायल 112 मुख्यमंत्री तथा गृहमंत्री का ड्रीम प्रोजेक्ट है। हरियाणा सरकार द्वारा शुरू की जा रही हेल्पलाइन 112 का मुख्यालय पंचकूला में बनाया गया है। जहां पर चार भाषाओं (हिंदी, अंग्रेजी, हरियाणवी और पंजाबी) समझने वाले लोगों को नियुक्त किया गया है। ये कर्मचारी प्रदेश भर से आने वाले फोन कॉल को सुनकर आगे रिस्पांस टीम तक अपने संदेश भेजेंगे, जोकि शहरी क्षेत्रों में अधिकतम 15 मिनट और ग्रामीण क्षेत्रों में 20 मिनट में शिकायतकर्ता के पास पहुंचेंगे।

Edited By: Kamlesh Bhatt

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112 नंबर किसका है इन इंडिया?

आपको बता दें आपातकालीन नंबर 112 के जरिए आप फायर ब्रिगेड, मेडिकल और पुलिस की सहायता ऑन द स्पॉट पा सकते है। आइए जानते है इस नंबर से आपको कैसे मदद मिलेगी। 100 नंबर के बाद भी 112 की क्यों पड़ी जरूरत – आप सभी जानते हैं कि, आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए पहले से ही देश में 100 नंबर मौजूद है।

UP 112 क्या है?

यूपी पुलिस की डायल 112 सर्विस महिलाओं और वरिष्ठ नागरिकों को मुसीबत के वक्त मदद पहुंचाएगी. रात के वक्त अगर गाड़ी नहीं मिली तो महिलाओं को घर पहुंचाया जाएगा. UP News: यूपी पुलिस (UP Police) की 'डायल 112' (Dial 112) मुख्यालय की एडिशन एसपी मोहिनी पाठक तीन दिन के बरेली दौरे पर हैं.

112 आपातकालीन सेवा उत्तर प्रदेश में कितने माध्यम से संपर्क किया जा सकता है?

एप के माध्यम से भी पुलिस, फायर और चिकित्सा संबंधी सहायता उपलब्ध कराई जाएगी। उत्तर प्रदेश में आपातकालीन सेवाओं के लिए 26 अक्तूबर से 112 नंबर डायल करना होगा।

पुलिस के पास फोन कैसे करें?

अभी लोग 100 नंबर पर फोन करके पुलिस से मदद मांगते हैं लेकिन अब मदद के लिए आपको 112 नंबर डायल करना होगा।