One Line Answer
सुदर्शन ने इस लेखक की लेखन परंपरा को आगे बढ़ाया है : ____________
Advertisement Remove all ads
Solution
सुदर्शन ने इस लेखक की लेखन परंपरा को आगे बढ़ाया है : सुदर्शन ने मुंशी प्रेमचंद की लेखन परंपरा को आगे बढ़ाया है।
Concept: गद्य (Prose) (12th Standard)
Is there an error in this question or solution?
Advertisement Remove all ads
Chapter 4: आदर्श बदला - साहित्य संबंधी सामान्य ज्ञान [Page 22]
Q 2Q 1Next
APPEARS IN
Balbharati Hindi - Yuvakbharati 12th Standard HSC Maharashtra State Board
Chapter 4 आदर्श
बदला
साहित्य संबंधी सामान्य ज्ञान | Q 2 | Page 22
Advertisement Remove all ads
सुदर्शन जी ने किसकी परंपरा को आगे बढ़ाया?
Answer: सुदर्शन (1895-1967) प्रेमचन्द परम्परा के कहानीकार हैं।
सुदर्शन जी की निम्नलिखित में से कौनसी कहानी है *?
सुदर्शन का नाम प्रेमचंद युग के सशक्त कथाकार के रूप में माना जाता हैं. सुदर्शन की पहली कहानी हार की जीत 1920 में प्रकाशित हुई. इनकी यह पहली कहानी ही श्रेष्ठतम रचनाओं में मानी जाती हैं.
सुदर्शन जी का वास्तविक नाम क्या है?
सुदर्शन जी का मूल नाम बदरीनाथ था और वो लोकप्रिय कहानीकाल भी थे जिनका उद्देश्य कहानियों के जरिये मुख्य लक्ष्य समाज व राष्ट्र को स्वच्छ व सुदृढ़ बनाना रहा है।
बद्रीनाथ कौन से लेखक का मूल नाम है?
अब तक यह माना जाता रहा है कि यह आरती एक मुस्लिम भक्त बदरुद्दीन उर्फ नसरुद्दीन निवासी नंद प्रयाग (चमोली) ने लिखी थी। लेकिन अब इस आरती के लेखक को लेकर नया दावा किया गया है। इस दावे के मुताबिक यह आरती विजरवाणा सतेरा स्यूपुरी (वर्तमान रुद्रप्रयाग जिले में) के ठाकुर धन सिंह वर्त्वाल ने 1881 में लिखी थी ।